बिहार के मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने कहा कि वह बड़े उद्योगों एवं बड़ी पूंजी लगाए जाने की जरूरत नहीं समझते बल्कि मानते हैं कि छोटे व मझौले उद्योग पनपने से राज्य के लोगों को रोजगार के पर्याप्त अवसर मिलेंगे. वे बिहार राज्य राईस मिलर्स एसोसिएशन के एकदिवसीय सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे. मेरी सीखने की उम्र गुजर चुकी है: मांझी
मांझी ने कहा कि वे बड़े उद्योगों एवं बड़ी पूंजी लगाए जाने के कायल नहीं हैं बल्कि छोटे-छोटे व मध्यम उद्योग यहां पर पनपे और आगे बढ़े तो स्थानीय लोगों को राजगार का पर्याप्त अवसर मिलेगा. मुख्यमंत्री ने कहा कि बिहार के कौशलवान और पढ़े-लिखे लोग प्रदेश के बाहर नहीं जाएं. यहां पर रोजगार लगाएं. इससे हमारी बेरोजगारी की समस्या का समाधान हो सकता है जितना उद्योग बिहार में होना चाहिए था उतना यहां नहीं है. हमारा प्रयास उद्योग को फैलाने का है.
उन्होंने कार्यक्रम में भाग लेने वाले राईस मिलर्स से कहा कि उनका बिहार के आर्थिक विकास में बड़ा योगदान है. तीन हजार राईस मिलर्स यहां पर लगे हुए हैं. मजदूरों की संख्या भी लाख में पहुंच गई है. मांझी ने कहा कि राज्य सरकार अधिक से अधिक नौजवानों को रोजगार देने के लिये कृषि व्यापार पर ध्यान दे रही है. राज्य में उद्योग कैबिनेट बनाया है. 29 दिसंबर को उद्यमी पंचायत का आयोजन कर रहे हैं. उद्यमी पंचायत में राईस मिलर्स की समस्याओं को सुनेंगे और उसी दिन समस्याओं का निदान भी निकालेंगे.
इनपुट-भाषा