राष्ट्रीय जनता दल के नेता लालू यादव की बेटी मीसा भारती की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. शुक्रवार को लालू यादव से जुड़े 12 ठिकानों पर छापेमारी के बाद प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने शनिवार को बेनामी संपत्ति मामले में दिल्ली में राज्य सभा सांसद मीसा भारती और उनके पति शैलेश से जुड़े तीन ठिकानों पर छापे मारे. छापेमारी की कार्रवाई मीसा और शैलेश के खिलाफ चल रहे 8000 करोड़ के मनी लॉड्रिंग (काले धन को सफेद बनाना) के मामले में है.
बता दें कि मई महीने में ईडी ने लालू यादव की बेटी मीसा भारती की कंपनी से जुड़े एक चार्टर्ड एकाउंटेंट राजेश अग्रवाल को गिरफ्तार किया था. इन पर 8 हजार करोड़ रुपये की मनी लॉड्रिंग का आरोप है. जून महीने में आयकर विभाग ने मीसा भारती को 1000 करोड़ के बेनामी संपत्ति मामले में पूछताछ के लिए बुलाया था, लेकिन एक से ज्यादा बार बुलाने के बावजूद मीसा भारती नहीं पहुंचीं.
क्या है पूरा मामला
1. प्रवर्तन निदेशालय ने मिशैल पैकर्स और प्रिंटर्स प्राइवेट लिमिटेड और इसके निदेशकों लालू की बेटी मीसा भारती और उनके पति शैलेश कुमार पर छापेमारी की है.
2. बता दें कि सीरियस फ्राड इंवेस्टिगेटिंग ऑफिसर (एसएफआईओ) ने दिल्ली के तीस हजारी कोर्ट में जैन भाइयों (सुरेंद्र कुमार जैन और वीरेंद्र जैन, इनके बारे में आगे बताएंगे) और अन्य के खिलाफ अपराधिक शिकायत दर्ज कराई है. इसके साथ ही ईडी प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉड्रिंग एक्ट 2002 के तहत एक मामले की जांच कर रही है.
3. जैन भाइयों का काम बेहिसाब पैसे को बैंकिंग चैनल के जरिए ट्रांजैक्शन करके वैध बनाना था और इसके बाद इसे वैध प्रीमियम शेयर के रूप में छिपाना था. इन सब मामलों में मध्यस्थता करने वाला व्यक्ति जैन भाइयों के पास पैसे लेकर आता था. जैन भाई कैश को लेकर अपने आदमियों के जरिए इसे लाभ प्राप्त करने वाली कंपनी में शेयर प्रीमियम ट्रांजैक्शन के रूप में दिखाते. इस पूरी प्रक्रिया में जैन भाइयों को बेहिसाब पैसे का एक बड़ा हिस्सा मिलता.
4. जैन भाइयों, जगत प्रोजेक्ट लिमिटेड और अन्य के खिलाफ आगे की जांच में पाया गया कि मिशैल पैकर्स और प्रिंटर्स प्राइवेट लिमिटेड के 1 लाख 20 हजार शेयर 2007-08 में 100 रुपये प्रति शेयर के हिसाब से खरीदे थे. इन्हें खरीदने वाली 4 कंपनियां शालिनी होल्डिंग लिमिटेड, एड-फिन कैपिटल सर्विसेस (इंडिया) प्राइवेट लिमिटेड, मणि माला दिल्ली प्रॉपर्टीज प्राइवेट लिमिटेड और डायमंड विनिमय प्राइवेट लिमिटेड.
5. इन कंपनियों में डायमंड विनिमय प्राइवेट लिमिटेड को छोड़कर सभी दिल्ली में रजिस्टर्ड थी और जैन भाइयों द्वारा मैनेज की जा रही थी. डायमंड विनिमय प्राइवेट लिमिटेड कोलकाता की कंपनी है. इसी 1 लाख 20 हजार शेयर को मीसा भारती ने बाद में 10 रुपये प्रति शेयर के हिसाब से खरीद लिया.
6. जांच के दौरान पाया गया कि चार्टर्ड अकाउंटेंट और मध्यस्थ राजेश अग्रवाल ने जैन भाइयों को 90 लाख रुपये एडवांस में दिए थे ताकि इसे मिशैल पैकर्स और प्रिंटर्स प्राइवेट लिमिटेड में शेयर प्रीमियम के रूप में निवेश किया जा सके. यहां यह याद रखने वाली है कि राजेश अग्रवाल जगत प्रोजेक्ट लिमिटेड में भी मध्यस्थ हैं.
7. जैन भाइयों ने यह भी खुलासा किया है कि उनका काम अपने कस्टमर से एडवांस में पैसे लेना था, जिसे शेयर प्रीमियम के रूप में निवेश किया जाता. बाद में इसे बहुत ही कम दाम पर डायरेक्टर्स और करीबी रिश्तेदारों को बेच दिया जाता. सुरेंद्र कुमार जैन, वीरेंद्र जैन और राजेश कुमार अग्रवाल को ईडी ने पहले ही गिरफ्तार कर लिया है और इन्हें न्यायिक हिरासत में रखा गया है. पूरे मामले में ईडी ने अब तक 65.82 करोड़ की प्रॉपर्टी जब्त की है.
8. मिशैल पैकर्स और प्रिंटर्स प्राइवेट लिमिटेड का पता 25, तुगलक रोड, नई दिल्ली था, जब तक कि मीसा भारती ने इसके शेयर खरीद नहीं लिए. साल 2009-10 में कंपनी का पता बदल गया और अब इसका पता फार्म नंबर 26, पालम फार्म, वीपीओ बिजवासन, नई दिल्ली हो गया. इस दौरान मीसा भारती और शैलेश कुमार कंपनी के डायरेक्टर थे.