बिहार के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री तेज प्रताप यादव शनिवार को राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के प्रमुख और अपने पिता लालू प्रसाद यादव से मिलने के लिए रिम्स पहुंचे. लालू यादव से मिलने के लिए बिहार के पूर्व उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव भी जाने वाले थे, लेकिन सूत्रों का कहना है कि अंतिम समय में उन्होंने अपना कार्यक्रर रद्द कर दिया.
लोकसभा चुनाव के नतीजों के बाद से तेजस्वी यादव सार्वजनिक रूप से दिखाई नहीं दे रहे हैं और उनकी गैर मौजदूगी को लेकर तमाम तरह के सवाल किए जा रहे हैं.
Jharkhand: Tej Pratap Yadav arrives at Rajendra Institute of Medical Sciences (RIMS) in Ranchi to meet his father and former Bihar CM Lalu Prasad Yadav, who is undergoing treatment at the hospital. pic.twitter.com/qpbQJTjxXs
— ANI (@ANI) June 22, 2019
गौरतलब है कि चारा घोटाला में सजायाफ्ता लालू प्रसाद यादव लंबे वक्त से बीमार चल रहे हैं. उन्हें हाई डायबिटीज, दिल की बीमारी, हाई बीपी, पेरियेनल इन्फेक्शन, क्रॉनिक किडनी जैसी कई गंभीर बीमारियों की शिकायत है. बहरहाल, लालू प्रसाद यादव की जमानत याचिका पर अब पांच जुलाई को सुनवाई होगी. शुक्रवार को जस्टिस अपरेश कुमार सिंह की अदालत में उनकी जमानत पर सुनवाई हुई. इस दौरान सीबीआई की ओर से जवाब दाखिल करने के लिए समय की मांग की गई.
कोर्ट ने सीबीआई के आग्रह को स्वीकार करते हुए मामले में सुनवाई के लिए पांच जुलाई की तिथि निर्धारित की है. दरअसल लालू की ओर से देवघर कोषागार से गलत तरीके से राशि की निकासी मामले में हाई कोर्ट से जमानत की गुहार लगाई गई है.
सुनवाई के दौरान लालू प्रसाद के अधिवक्ता देवर्षि मंडल ने अदालत को बताया कि लालू प्रसाद का इलाज रिम्स में रहा है. तबीयत खराब होने की वजह से लालू की चिंता बढ़ती जा रही है. इलाज के बाद भी उनके स्वास्थ्य में बहुत ज्यादा सुधार नहीं है. इसके अलावा उन्होंने देवघर कोषागार मामले में सजा की आधी अवधि जेल में काट ली है. सुप्रीम कोर्ट के निर्देशानुसार सजा की आधी अवधि काटने के बाद उन्हें जमानत की सुविधा मिलनी चाहिए.
चारा घोटाले से संबंधित देवघर कोषागार से अवैध निकासी के मामले में लालू यादव को साढ़े तीन साल की सजा हुई है. फिलहाल वह रिम्स की चारदीवारी में कैद हैं. उनके अधिवक्ता के मुताबिक, 25 महीने से ज्यादा का वक्त लालू यादव कैद में गुजार चुके हैं. इसी को आधार बनाकर उन्होंने हाईकोर्ट में जमानत याचिका दाखिल की है. वहीं, इसी से जुड़े अन्य मामले में पशु चिकित्सक मनोज कुमार श्रीवास्तव को दो लाख का फाइन लगाते हुए हाईकोर्ट ने जमानत दे दी है.