सरकारी कागजों पर, सरकार की वेबसाइड पर, सरकारी अफसर की जुबान पर दावा है कि अररिया के फारबिसगंज में 100 बेड का अस्पताल है. यानी 100 मरीजों का इलाज हो सकता है. लेकिन हकीकत एकदम अलग है. ये सरासर झूठ है, महमारी में कोरोना मरीजों के साथ सबसे बड़ा विश्वासघात जैसा है. आजतक की पड़ताल में अररिया के बेड घोटाले का बड़ा खुलासा हुआ है. डॉक्टर महेश्वर गुप्ता ने बताया कि फारबिसगंज में 100 बेड का एक डेडीकेटेड कोविड-19 हॉस्पिटल बनाया गया है. लेकिन आजतक की पड़ताल में सिविल सर्जन डॉक्टर महेश्वर प्रसाद गुप्ता का झूठ पकड़ा गया. हॉस्पिटल की डिप्टी superintendent रेश्मा रजा ने बताया कि हॉस्पिटल में सिर्फ 35 बेड हैं और पोल खुलने के डर से अब 50 बेड का कर दिया गया. ज्यादा जानकारी के लिए देखें वीडियो.