छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने बुधवार को नई दिल्ली में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह से मुलाकात की. इस दौरान मुख्य रूप से नक्सल समस्या से जुड़े विषयों पर चर्चा हुई. सीएम ने नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में संचार सुविधा बढ़ाने, बस्तर में सीआरपीएफ की दो और बटालियन की तैनाती, बस्तरिया बटालियन के गठन सहित विभिन्न मुद्दों पर शाह से बात की. इसके अलावा बघेल ने 7 नक्सल प्रभावित जिलों को दिए जाने वाली विशेष सहायता राशि को फिर से शुरू करने का आग्रह किया है. अमित शाह ने सुझावों व आग्रहों पर विचार करने के बाद उन्हें पूरी करने का आश्वासन दिया है.
जीएसटी क्षतिपूर्ति का भी उठाया मुद्दा
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने बैठक में जीएसटी क्षतिपूर्ति का मुद्दा भी उठाया. उन्होंने कहा कि राज्यों को दिया जाने वाला जीएसटी क्षतिपूर्ति बंद करने पर राज्य की आर्थिक स्थिति पर प्रभाव पड़ेगा. नक्सल प्रभावित राज्यों में विकास कार्य के लिए राशि नहीं मिलेगी तो इसका काफी असर पड़ेगा.
...तो हजारों लोगों को मिलेंगे रोजगार
मुख्यमंत्री बघेल ने कहा कि बस्तर में लौह अयस्क प्रचुरता से है. अगर बस्तर में स्थापित होने वाले स्टील प्लांट्स को 30 प्रतिशत डिस्काउन्ट पर लौह अयस्क उपलब्ध कराया जाए, तो वहां सैकड़ों करोड़ का निवेश व हजारों की संख्या में प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रोजगार के अवसर निर्मित होंगे.
नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में बैंक, सड़कें बनाने की मांग
गृहमंत्री के साथ बैठक में मुख्यमंत्री बघेल ने नक्सल प्रभावित जिलों के विकास से जुड़े मुद्दे रखे. उन्होंने आजीविका विकास, नक्सल क्षेत्रों में बैंकों, सड़कें, आधारभूत संरचना के विकास करने की मांग की है.
कोल्ड चेन बनाने के लिए अनुदान मिले
मुख्यमंत्री बघेल ने वनांचलों में लघु वनोपज, वन औषधियों व कई तरह की उद्यानिकी फसलें के प्रसंस्करण व विक्रय की व्यवस्था के लिए कोल्ड चेन निर्मित करने के लिए अनुदान दिया जाए.
इस इलाके में नहीं पहुंच पा रही बिजली
भूपेश बघेल ने अमित शाह को बताया कि कठिन भौगोलिक क्षेत्रों के कारण बड़े भाग में अभी तक ग्रिड की बिजली नहीं पहुंच पाई है. सौर ऊर्जा संयंत्रों की बड़ी संख्या में स्थापना से ही आमजन की ऊर्जा आवश्यकता की पूर्ति तथा उनका आर्थिक विकास संभव है.