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रेलवे का ढुलमुल रवैया, PM मोदी की बुलेट प्रूफ गाड़ी दिल्ली पहुंचाने में की देर

रेलवे में माल ढोने के मामले में सिर्फ आम आदमियों को ही परेशानी नहीं उठानी पड़ती, प्रधानमंत्री कार्यालय भी इससे अछूता नहीं है. बिलासपुर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बुलेट प्रूफ गाड़ी को समय पर न भेजना रेलवे के पार्सल सुपरवाइजर को महंगा पड़ गया है.

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी

रेलवे में माल ढोने के मामले में सिर्फ आम आदमियों को ही परेशानी नहीं उठानी पड़ती, प्रधानमंत्री कार्यालय भी इससे अछूता नहीं है. बिलासपुर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बुलेट प्रूफ गाड़ी को समय पर न भेजना रेलवे के पार्सल सुपरवाइजर को महंगा पड़ गया है.

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प्रधानमंत्री की बुलेट प्रूफ इस गाड़ी को समय पर दिल्ली न भेजे जाने के मामले में डीआरएम ने पार्सल सुपरवाइजर को निलंबित कर दिया है. इस पूरी घटना के जांच के भी आदेश दिए गए है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 9 मई को छत्तीसगढ़ दौरे पर थे.

प्रधानमंत्री के दौरे के मद्देनजर एसपीजी ने दो बुलेट प्रूफ गाड़ी रायपुर भेजी थी. रायपुर में प्रधानमंत्री की सभा स्थगित होने के बाद इन दोनों बुलेट प्रूफ गाड़ियों को उत्कल एक्प्रेस के विशेष मालवाहक कोच में डाल कर दिल्ली पहुंचाना था. एसपीजी ने प्रधानमंत्री कार्यालय के माध्यम से इन दोनों ही बुलेट प्रूफ वाहनों को दिनांक 10 मई को बिलासपुर से दिल्ली के लिए बुक किया. बुकिंग क्लर्क ने दोनों ही वाहनों को उत्कल एक्प्रेस में अटैच करने के लिए तमाम औपचारिकताएं पूरी की.

रविवार को उत्कल एक्प्रेस बिलासपुर पहुंची और अपने निर्धारित समय पर अगले पड़ाव के लिए भी निकल गई, लेकिन रेलवे का बुकिंग ऑफिस रविवार की छुट्टी मनाता रह गया. नतीजतन प्रधानमंत्री की दोनों बुलेट प्रूफ वाहन रातभर पार्सल गोदाम में ही खड़े रह गए. अफसरों को जब इस लेट लतीफी का पता चला तो वे सन्न रह गए.

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हालांकि प्रधानमंत्री के दोनों वाहन रविवार के बजाए सोमवार की सुबह उत्कल एक्प्रेस से दिल्ली के लिए रवाना कर दिए गए है. प्राथमिक रूप से इस लेट लतीफी के लिए पार्सल सुपरवाइजर को जिम्मेदार मानते हुए उसे तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया गया है. बिलासपुर रेल मंडल ने मामले की जांच के भी आदेश दिए है.

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