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रिफ्यूजी के तौर पर दिल्ली में रह रहे दो अफगानी नागरिक निकले ड्रग्स तस्कर, पुलिस ने दबोचा

दिल्ली पुलिस ने अफगानी मूल के दो युवकों को ड्रग्स तस्करी के आरोप में गिरफ्तार किया है. पकड़े गए दोनों युवक रिफ्यूजी के तौर पर भारत में रह रहे थे. इनमें से एक युवक मेडिकल शॉप पर काम करता था जहां दूसरे ने उसे ज्यादा पैसों का लालच देकर ड्रग्स तस्कर बना दिया. पकड़े गए युवक को हर डिलीवरी के बदले 100 अमेरिकी डॉलर मिलते थे.

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प्रतीकात्मक तस्वीर
प्रतीकात्मक तस्वीर

देश की राजधानी दिल्ली में पुलिस ने ड्रग्स सिंडिकेट चलाने के आरोप में दो अफगानी नागरिकों को गिरफ्तार किया है, पुलिस ने बताया कि आरोपियों की पहचान हाशिमी मोहम्मद वारिस (19) और अब्दुल नायब के रूप में हुई है.

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न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के मुताबिक गुप्त सूचना मिलने के बाद शनिवार को दिल्ली के तिलक नगर में छापेमारी की गई और वारिस और नायब को गिरफ्तार कर लिया गया. पुलिस उपायुक्त (अपराध) अमित गोयल ने कहा, 'उनके कब्जे से 400 ग्राम हेरोइन और 160 ग्राम कोकीन बरामद की गई है.

रिफ्यूजी के तौर पर भारत में रह रहे थे आरोपी

वारिस जनवरी 2020 से शरणार्थी के तौर पर भारत में रह रहा था. उनका परिवार अफगानिस्तान में है. भारत आने के बाद उसने विकासपुरी में एक केमिस्ट की दुकान में सहायक के रूप में काम किया था. 

वह ड्रग्स के कारोबार में तब आया जब उसके दोस्त ने उससे संपर्क किया और उसे दिल्ली और एनसीआर में अलग-अलग लोगों से खेप इकट्ठा करने के लिए कहा. वह ड्रग्स को आगे रिसीवर्स तक पहुंचाता था. पुलिस ने कहा कि उसे प्रत्येक डिलीवरी के लिए 100 अमेरिकी डॉलर मिलते थे.

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पुलिस के मुताबिक नायब भी अफगानी नागरिक है और वह अपने पिता के साथ जनवरी 2020 में भारत आया था. वह रजिस्टर्ड शरणार्थी है. उनके पिता को छोड़कर उनका पूरा परिवार अफगानिस्तान में रहता है.

नायब की मुलाकात वारिस से विकासपुरी में एक केमिस्ट की दुकान में हुई थी. पुलिस ने कहा कि वारिस ने शानदार जीवनशैली के बहाने नायब को नशीली चीजों के कारोबार में शामिल किया. डीसीपी ने कहा, आगे की जांच चल रही है.
 

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