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बाटला हाउस एनकाउंटर से जुड़े एक मामले में साकेत कोर्ट आज सुनाएगा फैसला

आरिज़ बटला हाउस एनकाउंटर के दौरान भाग गया था. फरवरी 2018 में स्पेशल सेल ने इसे नेपाल से गिरफ्तार किया था. आरिज़ पर भारत में कई जगहों पर बम धमाके के आरोप हैं, जिनमें 165 लोग मारे गए हैं.

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बाटला एनकाउंटर के एक मामले में आज आएगा फैसला
बाटला एनकाउंटर के एक मामले में आज आएगा फैसला
स्टोरी हाइलाइट्स
  • बाटला हाउस एनकाउंटर से जुड़े एक मामले में आएगा फैसला
  • साकेत कोेर्ट दोपहर दो बजे सुनाएगा फैसला

दिल्ली में साल 2008 में हुए चर्चित बाटला हाउस एनकाउंटर मामले में सोमवार को फैसला आ सकता है. दिल्ली की साकेत कोर्ट आरोपी आरिज़ खान को लेकर फैसला सुना सकती है. यह फैसला दोपहर दो बजे तक आ सकता है. आरिज़ बाटला हाउस एनकाउंटर के दौरान भाग गया था. फरवरी 2018 में स्पेशल सेल ने उसे नेपाल से गिरफ्तार किया था. आरिज़ पर भारत में कई जगहों पर बम धमाके के आरोप हैं, जिनमें 165 लोग मारे गए हैं. आरोप है कि धमाकों के बाद आरिज़ नेपाल भाग गया था और फर्जी पासपोर्ट पर सलीम के नाम से छुपा हुआ था.

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दरअसल, इस एनकाउंटर की कहानी 13 सितंबर 2008 को दिल्ली के करोल बाग, कनॉट प्लेस, इंडिया गेट और ग्रेटर कैलाश में हुए सीरियल बम ब्लास्ट से शुरू होती है. उस ब्लास्ट में 26 लोग मारे गए थे, जबकि 133 घायल हो गए थे. दिल्ली पुलिस ने जांच में पाया था कि बम ब्लास्ट को आतंकी संगठन इंडियन मुजाहिदीन ने अंजाम दिया था. 

इस ब्लास्ट के बाद 19 सितंबर को दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल को सूचना मिली थी कि इंडियन मुजाहिद्दीन के पांच आतंकी बाटला हाउस के एक मकान में मौजूद हैं. इसके बाद पुलिस टीम अलर्ट हो गई. 19 सितंबर 2008 की सुबह आठ बजे इंस्पेक्टर मोहन चंद शर्मा की फोन कॉल स्पेशल सेल के लोधी कॉलोनी स्थित ऑफिस में मौजूद एसआई राहुल कुमार सिंह को मिली. 

उन्होंने राहुल को बताया कि आतिफ एल-18 में रह रहा है. उसे पकड़ने के लिए टीम लेकर वह बाटला हाउस पहुंच जाए. राहुल सिंह अपने साथियों एसआई रविंद्र त्यागी, एसआई राकेश मलिक, हवलदार बलवंत, सतेंद्र विनोद गौतम आदि पुलिसकर्मियों को लेकर प्राइवेट गाड़ी में रवाना हो गए.

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इस टीम के इंस्पेक्टर मोहन चंद शर्मा डेंगू से पीड़ित अपने बेटे को नर्सिंग होम में छोड़ कर बाटला हाउस के लिए रवाना हो गए. वह अब्बासी चौक के नजदीक अपनी टीम से मिले. सभी पुलिस वाले सिविल कपड़ों में थे. 

बताया जाता है कि उस वक्त पुलिस टीम को यह पूरी तरह नहीं पता था कि बाटला हाउस में बिल्डिंग नंबर एल-18 में फ्लैट नंबर 108 में सीरियल बम ब्लास्ट के जिम्मेदार आतंकवादी रह रहे थे. उनका कहना है कि यह टीम उस फ्लैट में मौजूद लोगों को पकड़ कर पूछताछ के लिए ले जाने आई थी.

 

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