लोकसभा चुनाव में 400 सीटों पर लड़ने की तैयारी कर रही आम आदमी पार्टी को बड़ा धक्का पहुंचा है. उसके नेता और मंत्री सोमनाथ भारती की दादागीरी और उसके बाद सड़क पर आंदोलन से उसके चाहने वाले सकते में है. इसका असर ऑनलाइन डोनेशन पर पड़ा है, जो लगातार घटता जा रहा है.
अंग्रेजी अखबार द इकोनॉमिक टाइम्स के मुताबिक 16 जनवरी को खिड़की गांव में दिल्ली के मंत्री सोमनाथ भारती के रेड के बाद से ऑनलाइन डोनेशन में लगातार कमी आती चली गई. आंकड़ों की मानें तो 20 जनवरी के धरने के बाद से यह लगभग एक लाख रुपये पर चला गया. जबकि लोकसभा चुनाव के खर्च को पूरा करने के लिए पार्टी को हर दिन कम से कम 66 लाख रुपये चाहिए.
आम आदमी पार्टी के सदस्य अरिजीत उपाध्याय की साइट आपट्रेंड्स डॉट कॉम से ये आंकड़े मिले हैं. इनके मुताबिक 17 जनवरी से पार्टी को ऑनलाइन डोनेशन मिलना काफी कम हो गया. उस समय ही खिड़की गांव में सोमनाथ भारती के रेड की खबरें फैली थीं. उसके बाद से हर दिन पार्टी के डोनेशन में कमी आती गई. हालत यहां तक हो गए कि डोनेशन की रकम 17 जनवरी को महज 1.6 लाख रुपये रह गई. उसके पहले यानी 16 जनवरी को यह राशि 4.45 लाख रुपये थी. उसके बाद जब अरविंद केजरीवाल सड़क पर उतर आए तो डोनेशन की राशि बहुत ही कम रह गई.
हालांकि पार्टी के एक नेता पंकज गुप्ता ने इसका खंडन किया कि आंदोलन के कारण डोनेशन में कमी आई है. उन्होंने कहा कि ऐसा पहले भी हुआ है कि पार्टी को 1.2 लाख रुपये तक का डोनेशन मिला है. इसमें कोई असामान्य बात नहीं है. उन्होंने कहा कि हमने डोनेशन मांगने का काम जोर-शोर से नहीं किया है इसलिए इसमें फर्क आया है.
पार्टी को सबेस ज्यादा डोनेशन 28 दिसंबर को मिला था जब केजरीवाल ने शपथ ली थी. उस दिन उसके वेबसाइट पर जिक्र था कि पार्टी को ऑनलाइन 21 लाख रुपये का डोनेशन मिला. 2 जनवरी को उसे 50 लाख रुपये से सिर्फ 50,000 रुपये कम का डोनेशन मिला था.
पार्टी को सीधे तौर पर कितना डोनेशन मिल रहा है इस बारे में अभी स्पष्ट जानकारी नहीं है. पार्टी को सबसे ज्यादा डोनेशन उत्तर प्रदेश से मिलता है, उसके बाद महाराष्ट्र तथा दिल्ली का नंबर है.