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छापेमारी से तिलमिलाए केजरीवाल ने कहा- मोदी जी मैं आपसे और सीबीआई से नहीं डरता

मंगलवार शाम आक्रामक तेवरों के साथ अरविंद केजरीवाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की और अपने प्रधान सचिव राजेंद्र कुमार का बचाव किया.

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दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल

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अपने प्रधान सचिव के दफ्तर में सीबीआई की छापेमारी को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने नाक का सवाल बना लिया है. मंगलवार दिन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को 'कायर' बुलाने वाले सीएम ने शाम ढलते-ढलते कहा कि पीएम के कर्म फूट गए हैं और उन्हें देश से माफी मांगनी चाहिए. केजरीवाल ने कहा कि सीबीआई छापेमारी कर मुख्यमंत्री की फाइलों को जब्त करना चाहती है.

मंगलवार शाम आक्रामक तेवरों के साथ अरविंद केजरीवाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की और अपने प्रधान सचिव राजेंद्र कुमार का बचाव किया. केजरीवाल ने सीबीआई की दलीलों को झूठा करार देते हुए कहा, 'सीबीआई और ऐसे टुटपुंजियों से दूसरे लोग डर जाएंगे, अरविंद केजरीवाल डरने वाला नहीं है.'

जेटली की फाइल ढूंढ़ रहे हैं पीएम मोदी
अरविंद केजरीवाल ने मोदी सरकार और सीबीआई पर आरोप लगाते हुए कहा कि सभी मिलकर उन्हें परेशान करना चाहते हैं ओर डराना चाहते हैं. केजरीवाल ने सीबीआई जांच पर सवाल उठाते हुए कहा, 'सीबीआई आज मेरे दफ्तर में कौन सी फाइलें ढूंढ रही है, मैं आपको बताता हूं. ये कोई भ्रष्टाचार की फाइल नहीं ढूंढ़ रहे. ये जो फाइलें ढूंढ़ रहे हैं वो DDCA की हैं. वो अरुण जेटली को बचाना चाहते हैं. जेटली कई वर्षों से DDCA के चेयरमैन हैं. हमने DDCA में हो रहे भ्रष्टाचार के खिलाफ जांच बिठाई. अभी मेरे पास जांच की रिपोर्ट आई है. ये वही ढूंढ़ रहे हैं.'

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केजरीवाल के प्रेस कॉन्फ्रेंस की मुख्य बातें-

-ये कह रहे हैं कि मेरे शब्द खराब हैं. मैं तो हिसार के पास गांव से हूं. मेरे शब्द खराब हो सकते हैं. आपके तो कर्म फूटे हैं.

-सीबीआई और टूटपुंजियों से दूसरे लोग डर जाएंगे, अरविंद केजरीवाल नहीं डरने वाला.

-मैं मोदीजी से कहना चाहता हूं कि जब तक सांस है मैं देश की सेवा करूंगा.

-अगर ये राजेंद्र कुमार के दफ्तर ठेकेदारी में भ्रष्टाचार उजागर करने आए तो वो जानते होंगे कि ठेके एक आदमी नहीं देता.

-ठेके की फाइल पर मंत्री भी साइन करता है तो उनके ठिकानों पर क्यों नहीं रेड मारी.

-जो भी शीला सरकार में मंत्री थे उनके घर और दफ्तर पर रेड क्यों नहीं मारी गई?

-अगर 2007-14 तक के मामलों की जांच कर रहे थे तो मुख्यमंत्री के दफ्तर में कौन सी फाइल ढूंढ़ रहे थे.

-वैट डिपार्टमेंट पर भी रेड नहीं मारी. जिन ठेकों की बात कर रहे हैं, उनपर छापे नहीं मारे गए. मुख्यमंत्री के दफ्तर में रेड मारी गई.

-मेरे प्रिंसिपल सेक्रेटरी के कुछ पुराने मामलों के बारे में कहा जा रहा है कि शिक्षा सचिव रहने के दौरान अगर गलत ठेके दिए तो आज सीबीआई को शिक्षा विभाग के दफ्तर पर भी छापे मारने चाहिए.

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