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संजीव चतुर्वेदी को OSD बनाएंगे केजरीवाल, केंद्र को अनुरोध पर ऐतराज नहीं

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल एम्स से हटाए गए सीवीओ संजीव चतुर्वेदी को ओएसडी बनाने की योजना रखते हैं. इस बाबत उन्होंने मंगलवार को केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर को पत्र भी लिखा है. केंद्र ने इस बाबत प्रतिक्रिया देते हुए स्पष्ट कर दिया है कि उसे चतुर्वेदी के तबादले पर कोई एतराज नहीं है. लेकिन अंतिम फैसला चिट्ठी मिलने के बाद ही लिया जाएगा.

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संजीव चतुर्वेदी की फाइल फोटो
संजीव चतुर्वेदी की फाइल फोटो

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल एम्स से हटाए गए सीवीओ संजीव चतुर्वेदी को ओएसडी बनाने की योजना रखते हैं. इस बाबत उन्होंने मंगलवार को केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर को पत्र भी लिखा है. केंद्र ने इस बाबत प्रतिक्रिया देते हुए स्पष्ट कर दिया है कि उसे चतुर्वेदी के तबादले पर कोई एतराज नहीं है. लेकिन अंतिम फैसला चिट्ठी मिलने के बाद ही लिया जाएगा.

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गौरतलब है कि संजीव चतुर्वेदी एम्स के पूर्व चीफ विजिलेंस ऑफिसर हैं. केजरीवाल अब उन्हें ओएसडी बनाना चाहते हैं, जबकि इससे पहले वह उन्हें एंटी करप्शन ब्यूरो का मुखि‍या बनाना चाहते थे. केजरीवाल ने पर्यावरण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर को खत लिखकर चतुर्वेदी के दिल्ली सरकार में तबादले की मांग की है.

चतुर्वेदी अभी एम्स में उप-निदेशक के पद पर तैनात हैं. केजरीवाल ने केंद्रीय पर्यावरण और वन मंत्री प्रकाश जावड़ेकर को चिट्ठी में लिखा है, 'संजीव चतुर्वेदी, भारतीय वन सेवा (हरियाणा कैडर, 2002 बैच), जो अभी केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर नई दिल्ली के एम्स में उप-सचिव के पद पर तैनात हैं. राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र, दिल्ली के मुख्यमंत्री कार्यालय में विशेष कार्य अधिकारी के पद पर उनकी तत्काल जरूरत है.' इस चिट्ठी के साथ अधिकारी की सहमति भी भेजी गई है.

इस बाबत सरकार की ओर से भी केजरीवाल को सकारात्मक रुख के संकेत मिले हैं. सवाल किए जाने पर केंद्रीय मंत्री जावड़ेकर ने कहा कि चिट्ठी मिलने के बाद ही कोई फैसला किया जाएगा. केंद्र को तबादले पर कोई एतराज नहीं है. उनकी फाइल मंगवाई गई है. जो योग्यता रखता है और उचित है, उसी आधार पर फैसला किया जाएगा.

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बीते साल 14 अगस्त को केंद्र की एनडीए सरकार ने संजीव चतुर्वेदी को एम्स के सीवीओ पद से हटा दिया था. स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने कहा था कि चतुर्वेदी का इस पद पर रहना असंवैधानिक है. डॉ. हर्षवर्धन ने ट्वीट कर यह भी कहा था कि सीवीसी ने दो बार चतुर्वेदी का नाम खारिज किया, लेकिन बाद में खुद सीवीसी ने इस मामले में स्वास्थ्य मंत्रालय से अपना पक्ष स्पष्ट करने को कहा था.

सीवीओ पद से हटाए जाने के बाद चतुर्वेदी ने सीवीसी के सामने अपना पक्ष रखा था. चतुर्वेदी ने सीवीसी को बताया कि बीजेपी नेता जेपी नड्डा के राजनीतिक दबाव के चलते उन्हें सीवीओ के पद से हटाया गया.

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