ऑक्सीजन सिलेंडर केस में दिल्ली सरकार के मंत्री इमरान हुसैन को बड़ी राहत मिली है. दिल्ली हाई कोर्ट ने उनके खिलाफ ऑक्सीजन की होर्डिंग से जुड़ी याचिका को खारिज कर दिया है. इमरान हुसैन ने कोर्ट द्वारा नियुक्त किए गए एमिकस को वो सभी बिल दिखाएं, जिसमें उन्होंने ऑक्सीजन हरियाणा से मंगा कर आम लोगों में बांटी थी.
इसके अलावा मंत्री इमरान हुसैन ने एमिकस को बताया कि उन्होंने ऑक्सीजन के 10 सिलेंडर भी दिल्ली से किराए पर लिए थे लेकिन उनको भरवाने के लिए गैस हरियाणा से ही मंगाई गई थी. बता दें कि दिल्ली हाई कोर्ट में याचिका लगाई गई थी कि इमरान हुसैन ऑक्सीजन की कालाबाजारी कर रहे हैं और सरकार से ऑक्सीजन लेकर उसे आम लोगों में बांट रहे हैं.
इस याचिका में आप सरकार के मंत्री इमरान हुसैन पर अवमानना की कार्यवाही करने की मांग की गई थी, लेकिन इमरान हुसैन की तरफ से बताया गया कि उन्होंने ऑक्सीजन दिल्ली से नहीं ली बल्कि पड़ोसी राज्य हरियाणा से किसी तरह अरेंज करके अपने विधानसभा क्षेत्र के आम लोगों तक पहुंचाई.
इसके बाद दिल्ली हाई कोर्ट ने इस मामले में उन्हें वह दस्तावेज और बिल दिखाने के लिए निर्देश दिए थे, जिससे यह साफ हो सके कि ऑक्सीजन हरियाणा से मंगाई गई. इमरान हुसैन की तरफ से यह तमाम चीजें कोर्ट के द्वारा नियुक्त किए गए एमिकस (कोर्ट मित्र) राजशेखर राव के सामने पेश की गई.
एमिकस (कोर्ट मित्र) राजशेखर राव ने आज दिल्ली हाई कोर्ट को बताया कि वह पूरी तरह से संतुष्ट है कि ऑक्सीजन मंत्री के द्वारा दिल्ली से नहीं बल्कि हरियाणा से मंगाई गई, जिसके बाद आज दिल्ली हाईकोर्ट ने याचिका को खारिज करते हुए इमरान हुसैन के खिलाफ चल रहे मामले को बंद कर दिया है.