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हवा में जहर, यमुना में प्रदूषण... आर्टिफिशियल घाट पर होगी छठ पूजा, महापर्व पर दिल्ली सरकार की क्या तैयारियां?

दिल्ली हाई कोर्ट ने बुधवार को यमुना नदी में छठ पूजा मनाने पर प्रतिबंध हटाने से इनकार कर दिया. कोर्ट ने कहा कि नदी में प्रदूषण का स्तर बहुत ज्यादा है और इससे श्रद्धालुओं को नुकसान होगा. अदालत ने यह भी कहा कि श्रद्धालुओं के लिए पहले से ही पर्याप्त व्यवस्थाएं की गई हैं.

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छठ के लिए दिल्ली सरकार ने बनाए आर्टिफिशियल घाट (तस्वीर: X/Atishi)
छठ के लिए दिल्ली सरकार ने बनाए आर्टिफिशियल घाट (तस्वीर: X/Atishi)

राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली की हवा और यमुना का पानी दोनों जहरीले बने हुए हैं. केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के मुताबिक, कई इलाकों में गुरुवार सुबह एयर क्वालिटी ‘गंभीर’ दर्ज की गई और शहर में AQI ‘बहुत खराब’ श्रेणी में रहा. वहीं, यमुना की सतह पर जहरीले झाग की मोटी परत जमी हुई है. कालिंदी कुंज के पास नदी में झाग के टुकड़े तैरते नजर आ रहे हैं. ऐसे में दोहरे प्रदूषण के बीच दिल्ली की जनता आज छठ पूजा की तैयारियों में लगी हुई है. 

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यमुना में लगातार झाग नजर आने के बाद दिल्ली की सियासत में आरोप-प्रत्यारोप भी देखने को मिला. दिल्ली जल बोर्ड (DJB) ने दावा किया कि झाग, आगरा नहर से गाद के निकलने का नतीजा है, जबकि उत्तर प्रदेश सरकार ने इन आरोपों को खारिज कर दिया.

yamuna pollution

इसके अलावा, दिल्ली सरकार ने बुधवार को नोटिफिकेशन जारी कर छठ पूजा के मौके पर 7 नवंबर को अवकाश घोषित किया. इस साल छठ पूजा गुरुवार को हो रही है. इस त्योहार को मुख्य रूप से पूर्वी उत्तर प्रदेश और बिहार से आए प्रवासी मनाते हैं. छठ पूजा करने वाले भक्त नदी की सतह पर जहरीले झाग की मोटी परत के बावजूद यमुना में डुबकी लगाते हैं और सूर्य की दिशा में मुंह करके प्रार्थना करते हैं लेकिन प्रदूषण की वजह से यमुना के पानी में डुबकी लगाना खतरनाक है.

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छठ के लिए MCD की तैयारियां 

दिल्ली नगर निगम (MCD) ने राष्ट्रीय राजधानी में अपने 250 वार्डों में छठ घाटों पर स्ट्रीट लाइटिंग बढ़ाने के लिए 1 करोड़ रुपये आवंटित किए हैं, मंगलवार को एक बयान में यह जानकारी दी गई.

प्रत्येक वार्ड को छठ पूजा घाटों के आसपास स्ट्रीट लाइटिंग को मजबूत करने के लिए 40 हजार रुपये का फंड दिया गया है. एमसीडी के मुताबिक, इसका विद्युत और यांत्रिक विभाग इन घाटों पर लाइटिंग कार्य को पूरा करने के लिए कर्मचारियों को तैनात करेगा.  

लाइटिंग व्यवस्था में सुधार के अलावा, एमसीडी छठ घाटों पर स्वच्छता और सफाई भी सुनिश्चित कर रही है. घाटों पर आने वाले लोगों को राहत देने के लिए पार्किंग की व्यवस्था भी की गई है.

यह भी पढ़ें: लखनऊ में छठ को लेकर अवकाश घोषित, आज बंद रहेंगे सभी सरकारी और निजी संस्थान

बनाए गए हैं आर्टिफिशियल घाट

दिल्ली सरकार ने छठ पूजा के लिए आर्टिफिशियल घाट का निर्माण किया है. मुख्यमंत्री आतिशी ने मंगलवार को छठ महापर्व को लेकर सरकार की ओर से किए गए इंतजाम की जानकारी दी थी. उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, "दिल्ली सरकार छठ महापर्व के लिए पूरी दिल्ली में 1000 छठ घाटों का निर्माण कर रही है, जिससे किसी को भी पूजा के लिए अपने घर से 1-2 किमी से ज्यादा दूर न जाना पड़े."

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आतिशी ने कहा, 'इतने भव्य स्तर पर जो छठ पूजा हो रही है, उसकी शुरुआत पिछले 10 साल में हुई है. 2014 में अरविंद केजरीवाल के मुख्यमंत्री बनने से पहले पूरी दिल्ली में सिर्फ 60 छठ घाट थे. लेकिन आज 10 साल के बाद 1000 छठ घाट दिल्ली सरकार द्वारा बनाए जा रहे हैं.'

मुख्यमंत्री आतिशी, 4 नवंबर को छठ का निरीक्षण करने भी पहुंचीं थीं. उन्होंने सोशल मीडिया पोस्ट में इस बात की जनकारी देते हुए कहा, "छठ महापर्व की तैयारियों को लेकर दिल्ली के सबसे पुराने और प्रमुख छठ घाटों में शामिल ITO हाथी घाट का निरीक्षण किया. केजरीवाल जी के मार्गदर्शन में इस साल दिल्ली सरकार द्वारा पूरे शहर में 1000 से अधिक स्थानों पर आस्था के इस महापर्व को धूमधाम से मनाया जा रहा है."

उन्होंने यह भी कहा कि अधिकारियों को निर्देश दिए है कि, ITO सहित सभी घाटों पर श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा के सभी इंतजाम जल्द पूरे किए जाए.

यमुना में छठ पूजा को लेकर दिल्ली HC का फैसला 

दिल्ली हाई कोर्ट ने बुधवार को यमुना नदी में छठ पूजा मनाने पर प्रतिबंध हटाने से इनकार कर दिया. कोर्ट ने कहा कि नदी में प्रदूषण का स्तर बहुत ज्यादा है और इससे श्रद्धालुओं को नुकसान होगा. अदालत ने यह भी कहा कि श्रद्धालुओं के लिए पहले से ही पर्याप्त व्यवस्थाएं की गई हैं. मुख्य न्यायाधीश मनमोहन और जस्टिस तुषार राव गेडेला की बेंच ने पूर्वांचल नव निर्माण संस्थान द्वारा दायर याचिका को खारिज कर दिया. इस याचिका में यमुना नदी के किनारे छठ पूजा करने की अनुमति देने के लिए निर्देश देने की मांग की गई थी.

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याचिकाकर्ता के वकील ने कहा कि त्योहार के लिए घाटों और नदी की सफाई की जानी चाहिए, लेकिन अदालत ने कहा कि यह काम रातोंरात नहीं किया जा सकता क्योंकि यह एक चुनौतीपूर्ण कार्य है. दलीलें सुनने के बाद बेंच ने कहा कि आखिरी वक्त में कुछ नहीं किया जा सकता.

दिल्ली सरकार के वकील ने कहा कि अगर श्रद्धालुओं को अत्यधिक प्रदूषित नदी में छठ पूजा करने की अनुमति दी गई तो वे बीमार पड़ सकते हैं. हाईकोर्ट को यह भी बताया गया कि दिल्ली सरकार ने दिल्ली में छठ पूजा के लिए एक हजार जगहों को सेलेक्ट किया है. 

यह भी पढ़ें: छठ पूजा पर दिल्ली से पटना तक हो रही है बड़ी तैयारी, आज शाम पहला अर्ध्य

AAP पर बीजेपी का हमला

दिल्ली बीजेपी चीफ वीरेंद्र सचदेवा ने यमुना के प्रदूषित होने के बारे में हाई कोर्ट की टिप्पणी पर आम आदमी पार्टी (AAP) सरकार पर निशाना साधा. उन्होंने कहा, "अदालत की टिप्पणियों ने छठ पूजा से पहले नदी की सफाई के बारे में सरकार के दावों की पोल खोल दी है."

बीजेपी नेता ने आरोप लगाया कि त्योहार के लिए AAP सरकार द्वारा बनाए गए सैकड़ों घाट पूरी तरह से काम नहीं कर रहे हैं. दिल्ली कांग्रेस अध्यक्ष देवेंद्र यादव ने भी इस मुद्दे पर सत्तारूढ़ पार्टी पर हमला बोला. उन्होंने कहा कि शहर में हवा और पानी की खराब होती गुणवत्ता पर पार्टी द्वारा अपनी चिंता व्यक्त करने के बावजूद, मुख्यमंत्री आतिशी ने कोई सुधारात्मक कदम नहीं उठाया है.

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