देश की राजधानी दिल्ली में बढ़ते कोरोना के मामले और ऑक्सीजन की किल्लत के बीच सूबे की केजरीवाल सरकार ने ऑक्सीजन ऑडिट कमेटी गठित की है. दिल्ली सरकार के 12 अस्पतालों में दो-दो सदस्यीय ऑक्सीजन ऑडिट कमेटी बनाई गई है. इस कमेटी में विशेषज्ञ डॉक्टर शामिल हैं. ये सभी हर दिन लिक्विड मेडिकल ऑक्सीजन और सिलेंडर ऑक्सीजन दोनों के स्टॉक और इस्तेमाल का डाटा तैयार करेंगे.
इनकी जिम्मेदारी यह सुनिश्चित करना भी होगी कि ऑक्सीजन का इस्तेमाल कोविड प्रोटोकॉल और संतुलित तरीके से हो रहा है. ऑक्सीजन ऑडिट कमेटी यह भी पता लगाएगी कि ऑक्सीजन की बर्बादी कहां हो रही है और उसे किस तरह से रोका जा सकता है. हर अस्पताल की ऑक्सीजन ऑडिट कमेटी को हर दिन शाम 5 बजे से पहले अपनी रिपोर्ट अस्पताल के प्रभारी नोडल अधिकारी को सौंपनी होगी.
कोर्ट से दिल्ली सरकार ने लगाई गुहार
इससे पहले दिल्ली की आम आदमी पार्टी सरकार ने कोर्ट से गुहार लगाई है कि वो केंद्र से रेमडेसिविर और फैबीफ्लू की सप्लाई के संबंध में हलफनामा दायर करने को कहे. कोर्ट ने सरकार से बेड की क्षमता और स्टेटस पर हलफनामा दायर करने के लिए कहा है. कोर्ट ने कहा कि हमने रिपोर्ट देखी कि प्रवासी मजदूर वापस जा रहे हैं. कर्फ्यू लगने से दिहाड़ी मजदूरों के सामने फिर से समस्या खड़ी हो गई है. अंत में सिविल सोसाइटी के लोगों को आगे आना पड़ेगा.
दिल्ली में छह दिन का लॉकडाउन लागू
दिल्ली में कोरोना पर काबू पाने के लिए केजरीवाल सरकार ने लॉकडाउन लगाने का फैसला लिया है. आज (19 अप्रैल) रात 10 बजे से छह दिन के लिए लॉकडाउन लागू हो गया है. इस दौरान गैर जरूरी सेवाओं को छोड़कर सारी सेवाएं जारी रहेंगी. घर से बिना वाजिब कारण के बाहर निकलने पर रोक है.
एक मई से 18 साल के ऊपर के सभी को वैक्सीन
कोरोना के बढ़ते प्रकोप के बीच केंद्र सरकार ने अहम फैसला लिया है. देश में 1 मई से तीसरे चरण के वैक्सीनेशन अभियान की शुरुआत होगी. इस दौरान 18 साल से ऊपर के सभी लोगों को कोरोना वैक्सीन की डोज दी जाएगी. पीएम मोदी ने एक अहम बैठक में यह फैसला लिया. देश के कई राज्यों में बेड्स की कमी और ऑक्सीजन की किल्लत के बीच केंद्र सरकार ने अहम फैसला लिया है.