केंद्र सरकार द्वारा आम आदमी पार्टी सरकार में मंत्रियों के साथ अलग-अलग विभागों से जुड़े 9 सलाहकारों को हटाने का आदेश जारी होते ही डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने जमकर मोदी सरकार पर निशाना साधा है. सिसोदिया ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दिल्ली की शिक्षा व्यवस्था को बर्बाद करना चाहते हैं.
मनीष सिसोदिया ने दावा किया है कि राघव चड्ढा और आतिशी मार्लेना को 1 रुपए प्रति महीने की सैलरी पर नियुक्त किया गया था. सिसोदिया ने गृहमंत्रालय से अचानक उनके सलाहकार हटाये जाने की वजह भी पूछी है.
9 सलाहकारों को हटाए जाने पर मनीष सिसोदिया ने नाराज़गी जताई. सिसोदिया ने कहा कि भाजपा सरकार उनकी सलाहकार आतिशी मार्लेना को इसलिए निशाना बनाया, क्योंकि उन्होंने शिक्षा व्यवस्था के सुधार में अहम भूमिका निभाई है. सिसोदिया के मुताबिक केंद्र सरकार ने यह नहीं बताया कि 9 सलाहकारों में से किस-किस को हटा रहे हैं.
सिसोदिया ने आरोप लगाया कि सलाहकारों में आतिशी मार्लेना सबसे ज्यादा टारगेट की गई हैं, क्योंकि वो शिक्षा को बेहतर करने के लिए दिल्ली सरकार की मदद कर रही हैं. आगे सिसोदिया ने कहा कि "मोदी सरकार का मकसद है कि शिक्षा का कामकाज ठप हो जाए. मोदी जी के सलाहकार उन्हें सलाह देते हैं कि बलात्कार करने वाले को कैसे बचाया जाए.
आपको बता दें कि हटाए गए सलाहकारों में अतिशी मर्लेना, राघव चड्ढा, अरुणोदय प्रकाश, अमरदीप तिवारी, राम कुमार झा, प्रशांत सक्सेना, समीर मल्होत्रा, दिनकर अदीब और रजत तिवारी शामिल हैं.
हालांकि दिल्ली सरकार का दावा है कि प्रशांत सक्सेना डेढ़ साल पहले हाईकोर्ट के एक आर्डर के बाद से पद पर नहीं हैं. समीर मल्होत्रा, रजत तिवारी भी इस्तीफा दे चुके हैं, जबकि राघव चड्ढा को सिर्फ ढाई महीने के लिए ढाई रुपए में अपॉइंट किया गया था. मनीष सिसोदिया ने कहा कि 9 सलाहकारों में से 4 फिलहाल सरकार में काम नहीं कर रहे हैं.