मुंबई के पब में आग लगने की घटना से दिल्ली सरकार ने कोई सबक नहीं लिया, जिसका खामियाजा शनिवार रात 17 लोगों की जान गंवाकर चुकानी पड़ी. देश अभी मुंबई के पब के भीषण अग्निकांड के सदमें से उभरा भी नहीं था कि दिल्ली के बवाना में आग लगने की एक और घटना सामने आ गई.
शनिवार को दिल्ली के बवाना में दो प्लास्टिक और एक पटाखा फैक्ट्री में भीषण आग लग गई, जिसकी चपेट में आने से 17 लोग की मौत हो गई. इसके अलावा कई लोग झुलस गए. दमकल की 10 गाड़ियों ने कड़ी मशक्कत के बाद आग में काबू पाया. बताया जा रहा है कि फैक्ट्री के अंदर आग से बचने के पुख्ता इंतजाम नहीं किए गए थे.
इससे पहले 29 दिसंबर 2017 को मुंबई के पब में लगी आग में 14 लोगों की जलकर मौत हो गई थी, जबकि 55 लोग झुलस गए थे. इस घटना ने पूरे देश को हिलाकर रख दिया था. इसके बाद हरकत में आई महाराष्ट्र की देवेंद्र फडणवीस सरकार ने गैर कानूनी तरीके से चल रहे सभी पब और रेस्तरां को ढहाने का आदेश दे दिया.
इसके बाद BMC ने काफी संख्या में अवैध इमारतों को ढहाया और कई पब व रेस्तरां सील कर दिए. साथ ही लापरवाही बरतने के आरोप में बीएमसी के पांच अधिकारियों को निलंबित कर दिया गया. हालांकि इससे दिल्ली की केजरीवाल सरकार ने कोई सबक नहीं लिया और महज 21 दिन में देश में दूसरी भीषण आग लगने की घटना सामने आ गई.
बताया जा रहा है कि दिल्ली के बवाना में पहले एक प्लास्टिक की फैक्ट्री में आग लगी और उसने दूसरी प्लास्टिक की फैक्ट्री व एक पटाखा की फैक्ट्री को अपनी चपेट में ले लिया. इन तीन फैक्ट्रियों में आग लगने से हड़कंप मच गया. इन फैक्ट्रियों के अंदर मौजूद लोग इधर-उधर भागने लगे. कुछ लोग छत से छलांग लगा दी.
इस हादसे में 13 लोग पहली मंजिल, 3 ग्राउंड फ्लोर और एक की मौत बेसमेंट में हुई है. मरने वालों में 8 महिलाएं हैं. बताया जा रहा है कि फैक्ट्री के अंदर आग से बचने के पुख्ता इंतजाम नहीं किए गए थे.