राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में प्रदूषण को लेकर दिल्ली सरकार अब एक्शन मोड में आ गई है. दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने अलग-अलग एजेंसियों और विभागों को 21 सितंबर तक प्रदूषण से निपटने के लिए ठोस एक्शन प्लान बनाकर पर्यावरण विभाग को सौंपने के निर्देश दिए हैं. पर्यावरण मंत्री राय ने मंगलवार को Environment Department, DPCC, PWD, MCD's, NDMC, DDA, Traffic Police, Transport Department, DJB, F&IC, DSIIDC, CPWD, NHAI के अधिकारियों के साथ बैठक की.
दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा है कि प्रदूषण के खिलाफ दिल्ली में विंटर एक्शन प्लान बनाने की शुरुआत की गई है. मंगलवार को 10 बिंदुओं पर फोकस करते हुए प्रमुख एजेंसियों के साथ मीटिंग की और सभी विभागों को एक्शन प्लान बनाने के निर्देश दिए गए हैं. 21 सितंबर तक एक्शन प्लान पर्यावरण विभाग को सौंपना होगा. अलग-अलग समस्याओं से निपटने के लिए अलग-अलग विभागों को जिम्मेदारी दी गई है.
पर्यावरण मंत्री के मुताबिक दिल्ली में पराली की समस्या से निपटने के लिए एक्शन प्लान और टाइम लाइन तैयार करने की जिम्मेदारी विकास विभाग को दी गई है. डस्ट प्रदूषण से निपटने के लिए तीनों नगर निगम, नई दिल्ली निगम, सेंट्रल निगम के अलावा सभी एजेंसियों को एक्शन प्लान बनाने के लिए कहा है. एजेंसियों को डस्ट केमिकल, मैकेनिकल रोड स्वीपिंग, डस्ट मैनेजमेंट के लिए एक्शन प्लान बनाना होगा.
जेई-ठेकेदार को दी जाएगी डस्ट प्रदूषण से निपटने की ट्रेनिंग
उन्होंने कहा कि स्पेशल टास्क के तहत जूनियर इंजीनियर और ठेकेदार को डस्ट प्रदूषण से निपटने के लिए जागरूक किया जाएगा और इससे जुड़ी ट्रेनिंग दी जाएगी. कूड़ा जलाने से फैलने वाले प्रदूषण से संबंधित मामलों में नगर निगम को एक्शन प्लान बनाने के निर्देश दिए गए हैं. गाड़ियों के प्रदूषण से निपटने के लिए ट्रांसपोर्ट डिपार्टमेंट को एक्शन प्लान बनाने की जिम्मेदारी दी गई है. प्रदूषण सर्टिफिकेट मॉनिटर करने के निर्देश भी दिए गए हैं.
गोपाल राय ने कहा कि ट्रैफिक कंजेशन से निपटने के लिए ट्रैफिक पुलिस को एक्शन प्लान बनाने के निर्देश दिए हैं. साथ ही ट्रैफिक सिग्नल भी सही करने के निर्देश दिए गए हैं ताकि जाम न लगे और प्रदूषण न फैले. उन्होंने कहा कि सड़कों पर ट्रक या भारी वाहन के खराब होने पर जाम लगता है ऐसी स्थिति में जाम से होने वाले प्रदूषण से निपटने के लिए भी ट्रैफिक पुलिस प्लान बनाए. डीटीसी की बस खराब होने पर अब बस से संबंधित डिपो में न जाना पड़े बल्कि नजदीकी डिपो के जरिए खराब बस को ठीक किया जाए.
पड़ोसी राज्यों से संवाद की जिम्मेदारी पर्यावरण विभाग को
पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा कि पड़ोसी राज्यों से संवाद की जिम्मेदारी पर्यावरण विभाग की होगी. हॉटस्पॉट को मॉनिटर करने की जिम्मेदारी नगर निगम की होगी. ग्रीन वॉर रूम की मॉनिटरिंग की जिम्मेदारी डीपीसीसी और पर्यावरण विभाग को सौंपी गई है. उन्होंने कहा कि एक्शन प्लान बनाने के मकसद से पर्यावरण विभाग एक तय फॉर्मेट हर विभाग को भेजेगा. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के पर्यावरण मंत्री से दिल्ली के मुख्यमंत्री ने मिलने का समय मांगा है. मुलाकात के दौरान पराली को खाद बनाने वाले बायो डिकम्पोजर से जुड़ी एक रिपोर्ट भी केंद्र सरकार को सौंपी जाएगी.