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दिल्ली: यमुना प्रभावितों को आधार कार्ड के बिना नहीं मिल रहा खाना

यमुना में हथिनीकुंड बैराज से लगातार पानी छोड़ा जा रहा है, जिसके चलते यमुना का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर चला गया है. रविवार सुबह को छोड़ा गया पानी 31 जुलाई तक दिल्ली पहुंचेगा, जिसे लेकर अलर्ट जारी किया गया है.

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यमुना किनारे से हटाए गए लोग
यमुना किनारे से हटाए गए लोग

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दिल्ली में यमुना का जलस्तर बढ़ने से बाढ़ का खतरा पैदा हो गया है. हथिनि कुंड बैराज से रविवार सुबह और अधिक पानी छोड़े जाने के बाद यमुना से सटे इलाकों में सैलाब की आशंका बढ़ गई है, जिसके मद्देनजर यमुना किनारे बसे लोगों को सुरक्षित स्थान भेजा जा रहा है. हैरानी की बात ये है कि ऐसे तमाम लोग भूखे-प्यासे रहने को मजबूर हैं.

बाहरी दिल्ली के सोनिया विहार इलाके में यमुना से सटे किसान पिछले तीन दिन भूखे-प्यासे खुले आसमान के नीचे कभी बारिश तो कभी धूप में अपने दिन गुज़ार रहे हैं. इन लोगों की मानें तो पिछले 24 घंटो से सरकार ने इनकी कोई सुध तक नहीं ली है.

खाने के लिए मांगा आधार कार्ड

लोगों ने बताया कि रविवार शाम सरकारी विभाग से कुछ लोग आए थे लेकिन खाना देने से पहले इन लोगों से राशन कार्ड और आधार मांगा गया, साथ ही अधिकारियों ने कहा कि राशन कार्ड होने पर ही खाना मिलेगा.

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बता दें कि तकरीबन 50 से ज्यादा ये परिवार यमुना किनारे खेती करते हैं. इनके साथ मासूम बच्चे और महिलाएं भी शामिल हैं. बच्चों को भूखा देख इलाके के कुछ लोगों ने कुछ खाना दे दिया जिससे कुछ का तो पेट भर गया ओर कुछ अभी तक नहीं. लोगों का कहना है कि घर में जो अनाज था, वो बाढ़ में बह गया. अब ना तो इनके पास कुछ खाने को है और न ही ही अपने बच्चों को खिलाने के लिए कुछ बचा है.

यही नहीं तीन दिन से ये परिवार बिना टेंट तंबू के रह रहे है. सिविल डिफेंस के अधिकारी मोहम्मद शकील ने बताया कि टेंट की व्यवस्था करने में देरी जरूर हुई है लेकिन जल्द ही सारी व्यवस्था को पूरा कर लिया जाएगा और जो भी जरूरत की चीजें हैं इन लोगों को मुहैया कराई जाएंगी.

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