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दिल्ली में दमघोंटू हो सकती है हवा, कई क्षेत्रों में गंभीर स्तर पर एयर क्वालिटी

पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय की वायु गुणवत्ता निगरानी प्रणाली 'सफर' ने कहा है कि दिल्ली के पड़ोसी हरियाणा, पंजाब और अन्य राज्यों में पराली जलाये जाने के मामलों में काफी वृद्धि होने की बात सामने आई है.

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दिल्ली में हवा की क्वावलिटी गंभीर (फोटो- पीटीआई)
दिल्ली में हवा की क्वावलिटी गंभीर (फोटो- पीटीआई)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • दिल्ली में खराब हो रही है वायु की क्वालिटी
  • शनिवार-रविवार को बिगड़ सकते हैं हालात
  • कई इलाकों मे गंभीर स्थिति में एयर क्वालिटी

दिल्ली सरकार के प्रयासों के दावे के बावजूद राज्य में प्रदूषण बढ़ता ही जा रहा है. शनिवार को भी वायु गुणवत्ता ''बेहद खराब'' श्रेणी में बरकरार रही. शहर का वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 346 रहा. एयर क्वालिटी मॉनिटरिंग स्टेशन शुक्रवार को वायु गुणवत्ता के मामले में 'गंभीर' स्थिति में पहुंच गया है. 

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सरकारी एजेंसियों ने कहा कि शनिवार शाम तथा रविवार को वायु गुणवत्ता और खराब होगी. अधिकारियों ने कहा कि मुंडका, वजीरपुर और अलीपुर में वायु प्रदूषण का स्तर ''गंभीर'' है.

केन्द्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) द्वारा विकसित वायु गुणवत्ता सूचकांक निगरानी मोबाइल ऐप 'समीर' के अनुसार शुक्रवार को दिल्ली के 10 निगरानी केन्द्रों में वायु गुणवत्ता ''गंभीर'' श्रेणी में दर्ज की गई है.  
सरकारी एजेंसियों के अनुमान के मुताबिक अगले दो दिन में वायु गुणवत्ता और खराब हो सकती है. शुक्रवार को वायु गुणवत्ता सूचकांक 366 रहा था जबकि उससे एक दिन पहले यह 302 था.

बता दें, 0 और 50 के बीच एक्यूआई को 'अच्छा', 51 और 100 के बीच 'संतोषजनक', 101 और 200 के बीच 'मध्यम', 201 और 300 के बीच 'खराब', 301 और 400 के बीच 'बेहद खराब' और 401 से 500 के बीच 'गंभीर' माना जाता है. 

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पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय की वायु गुणवत्ता निगरानी प्रणाली 'सफर' ने कहा है कि दिल्ली के पड़ोसी हरियाणा, पंजाब और अन्य राज्यों में पराली जलाये जाने के मामलों में काफी वृद्धि होने की बात सामने आई है. गुरुवार को ऐसे 1,213 मामले सामने आए थे. 


नोएडा में प्रदूषण फैलाने वाले पर सख्ती

वहीं दूसरी ओर एनसीआर में प्रदूषण पर लगाम लगाने के लिए नोएडा प्राधिकरण ने उन कंपनियों को चिह्नित करने का काम शुरू किया है जो एनजीटी के नियमों का उलघन कर रहे हैं. नोएडा प्राधिकरण ने अलग-अलग कंपनियों पर करीब 10 लाख से ज्यादा का जुर्माना लगाया है. 

प्रदूषण फैलाने वाले संस्थानों को लेकर नोएडा प्राधिकरण बेहद सख्ती कर रहा है. वायु प्रदूषण फैलाने वालों पर सख्त कार्रवाई की जा रही है. इसी क्रम में शुक्रवार को नोएडा की कार्तिक कोल फर्म पर 50 हजार का जुर्माना किया गया है. नोएडा अथॉरिटी ने 2 अन्य बड़ी कंस्ट्रक्शन कंपनियों पर भी 50-50 हजार रुपये का जुर्माना लगाया है. 

नोएडा अथॉरिटी की सीईओ ऋतु माहेश्वरी ने निर्देश जारी किए हैं कि सभी सड़कों पर पानी का छिड़काव किया जाए. इसके तहत सिर्फ एक दिन में 71 टैंकरों की मदद से करीब 120 किलोमीटर के एरिया में पानी का छिड़काव किया गया है. 

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ऋतु माहेश्वरी ने बताया कि 67 मार्गों पर एक दिन में 243 किलोमीटर मैकेनिकल स्वीपिंग मशीन की मदद से सड़कों की सफाई की जा रही है. नोएडा प्राधिकरण के द्वारा किये जा रहे सभी कार्य और साफ सफाई से लेकर हर कर्मचारी पर नजर रखने के लिए एक इंटीग्रेटेड कमांड कंट्रोल सेंटर बनाया गया है. 

 

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