वर्ल्ड क्लास सिटी बनने का ख्वाब देख रही दिल्ली में पीने के लिए साफ पानी तक नहीं है. देश की राजधानी में गंदा पानी से 2 लोगों की मौत हो गई वहीं 17 लोग बीमार पड़ गए.
दक्षिण दिल्ली के कटवारिया सराय के एनसीईआरटी परिसर में गंदा पानी जहर बन गया और दो लोगों को अपनी जिंदगी से हाथ धोना पड़ा. सरकारी वादों का क्या होता है इसपर दिल्ली आज तक की रहेगी नजर, लेकिन फिलहाल हमारी खबर का असर होता दिख रहा है.
एनसीईआरटी कैंपस में गंदे पानी से मौतों पर दिल्ली सरकार ने पल्ला झाड़ लिया है. मुख्यमंत्री शीला दीक्षित ने कहा कि इंटरलाइन पाइप लाइन के रखरखाव में कमी से पानी जहरीला हुआ और यह मौतें हुईं. उन्होंने कहा कि जहां तक दिल्ली जल बोर्ड का पानी जाता है, वहां तक सब ठीक है. शीला दीक्षित ने यह भी कहा कि आज उनकी एनसीईआरटी डायरेक्टर से बात हुई है और वह खुद मौके पर जाएंगी.
दक्षिण दिल्ली में लोग तीन महीने से गंदे पानी की शिकायत लेकर हर सरकारी एजेंसी के पास जा रहे थे लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई. दिल्ली आज तक ने जब ये खबर दिखाई तो जैसे एनसीईआरटी परिसर में नेताओं का तांता लग गया.
विपक्ष के साथ ही यहां स्थानीय विधायक किरण वालिया भी पहुंची. उन्होंने दिल्ली आज तक पर भरोसा दिलाया है कि जब तक यहां पानी की सप्लाई दुरुस्त नहीं हो जाती है तब तक जलबोर्ड के टैंकर से पानी की सप्लाई की जाएगी. इसके साथ ही उन्होंने मामले की जांच भी कराने का आश्वासन दिया.
जलबोर्ड के मुताबिक एनसीईआरटी में पानी भले ही उसका जाता है लेकिन टंकी और लोकल पाइपलाइनों के रखरखाव का काम सीपीडब्ल्यूडी के जिम्मे है. वालिया ने ये भी कहा कि जो लोग बीमार पड़े हैं उनके इलाज का खर्च एनसीईआरटी उठाएगा. ये अलग बात है कि एनसीईआरटी अब भी मामले से पल्ला झाड़ रहा है.
बहरहाल खबर दिखाए जाने के बाद असर होता देख स्थानीय लोगों ने दिल्ली आज तक का शुक्रिया अदा किया है.