दिल्ली मे डेंगू, चिकनगुनिया और मलेरिया के फैलने और उनसे होने वाली मौतों पर जहां दिल्ली सरकार और सिविक एजेंसियां एक-दूसरे को जिम्मेदार ठहरा रही हैं, वहीं एनजीटी इस मामले को लेकर बहुत गंभीर है. एनजीटी ने बुधवार सुबह तीनों एमसीडी, डीडीए और दिल्ली सरकार को तलब किया है. एनजीटी इन सबके साथ इमरजेंसी मीटिंग करना चाहती है.
दरअसल मच्छरों के पनपने की मुख्य वजह पानी का जमा होना है. बरसात के दिनों में न तो दिल्ली में समय से फॉगिंग हो पाई और न ही दिल्ली सरकार ने समय पर अस्पतालों मे अतिरिक्त बिस्तरों की व्यवस्था की. इतना ही नहीं, दिल्ली सरकार तो अब तक ये भी मानने को तैयार नहीं है कि चिकनगुनिया से दिल्ली में रोगियों की मौत भी हुई है. एनजीटी शायद इस मीटिंग में सभी विभागों के काम की रिपोर्ट मांगेगा और सभी की जिम्मेदारी भी तय कर सकता है.
31 अगस्त को हुई जबरदस्त बारिश के बाद दिल्ली में कई दिनों तक कई इलाकों मे जलभराव रहा और उसके बाद अचानक से लोगों के बीमार होने का सिलसिला भी शुरू हो गया. उस दौरान किस विभाग की क्या-क्या जिम्मेदारियां थीं और किन किन अधिकारियों ने कहा और क्या लापरवाही की, एनजीटी इन्हीं सब चीजों की समीक्षा इस इमरजेंसी मीटिंग में करेगा. हालांकि एनजीटी को ये मीटिंग मंगलवार को ही करनी थी लेकिन कोर्ट मे मामले ज्यादा होने की वजह से अब ये बुधवार को होगी.