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तेल की बढ़ी कीमतों से हो रही कमाई से बड़े उद्योगपतियों का लोन चुका रही केंद्र सरकार- AAP

'आप' ने आरोप लगाया कि पहले देश को लूटने के लिए नोटबंदी हुई जिससे सिर्फ उद्योगपतियों को फायदा पहुंचा. और अब एक तरफ जहां पड़ोसी देशों में सस्ता पेट्रोल-डीजल है तो वहीं भारत के लोगों को महंगा ईंधन बेचकर लूटा जा रहा है.

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सांकेतिक तस्वीर
सांकेतिक तस्वीर

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दिल्ली में सत्तारुढ़ आम आदमी पार्टी ने पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों को लेकर एक बार फिर मोदी सरकार पर हमला किया और आरोप लगाया कि उससे हुई कमाई का इस्तेमाल बड़े उद्योगपतियों का कर्ज चुकाने में कर रही है.

आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता राघव चड्ढा ने पड़ोसी देशों में मिल रहे सस्ते पेट्रोल और डीजल के दाम की तुलना करते हुए केंद्र सरकार पर एक्साइज ड्यूटी बढ़ाकर करोड़ों रुपये कमाने का आरोप लगाया है. चड्ढा ने मीडिया से बातचीत के दौरान पेट्रोल के दाम 1 पैसे कम होने पर चुटकी लेते हुए कहा कि मोदी सरकार आम जनता के जले पर नमक छिड़कने का काम कर रही है.

AAP ने गिनाए पड़ोसी देशों के तेल की कीमत (प्रति लीटर)

नेपाल - पेट्रोल 67 रुपये, डीजल 54 रुपये

बंगलादेश - पेट्रोल 68 रुपये, डीजल 51 रुपये

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श्रीलंका - पेट्रोल 49 रुपये, डीजल 40 रुपये

पाकिस्तान - पेट्रोल 52 रुपये, 50 रुपये के आसपास

नोटबंदी का फायदा उद्योगपतियों को

'आप' ने आरोप लगाया कि पहले देश को लूटने के लिए नोटबंदी हुई जिससे सिर्फ उद्योगपतियों को फायदा पहुंचा. और अब एक तरफ जहां पड़ोसी देशों में सस्ता पेट्रोल-डीजल है तो वहीं भारत के लोगों को महंगा ईंधन बेचकर लूटा जा रहा है.

चड्ढा ने आगे कहा कि मई 2014 में जब बीजेपी की सरकार बनी तब अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल का दाम 108 डॉलर प्रति बैरल था जो कि अगले कुछ सालों में धीरे-धीरे 80% तक कम हो गया, लेकिन इसके बावजूद मोदी सरकार ने पेट्रोल और डीजल के दाम नहीं घटाए. बल्कि इसके उलट मोदी सरकार ने पेट्रोल पर 200% और डीजल पर 440% से अधिक एक्साइज ड्यूटी बढ़ा दी.

आम आदमी पार्टी ने आरोप लगाया है कि मोदी सरकार ने पेट्रोल और डीजल पर टैक्स और एक्साइज ड्यूटी बढ़ाकर भारत सरकार के खजाने में 9 लाख 95 हजार करोड़ का धन इकट्ठा किया. दूसरी तरफ डीजल पेट्रोल से हुई कमाई से बैंक का कर्जा न चुका पाने वाले बड़े उद्योगपतियों का लोन चुकाकर मदद पहुंचाई गई है.

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