राहुल गांधी के एक करीबी सहायक ने सरकार से कहा है कि कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी को मिली बख्तरबंद कारें घुटन भरी हैं और स्वास्थ्य के लिहाज से खतरनाक भी हैं. केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इस दावे को खारिज कर दिया.
विशेष सुरक्षा समूह (SPG) के निदेशक विवेक श्रीवास्तव को भेजे गए एक पत्र में राहुल के सहायक कौशल किशोर विद्यार्थी ने कांग्रेस नेता को देश में यात्रा के लिए मुहैया कराए जाने वाले टाटा सफारी बख्तरबंद वाहन के इस्तेमाल को लेकर आपत्ति जताई है. राहुल गांधी के सहायक विद्यार्थी के द्वारा 28 अप्रैल, 2016 को केंद्रीय गृह मंत्रालय में भेजे गए पत्र में कहा था कि बख्तरबंद कारों के मौजूदा बेड़े में सवारियों के बैठने वाले हिस्से में हवा का उचित या पर्याप्त आवागमन नहीं है.
विद्यार्थी द्वारा भेजे गए पत्र के अनुसार, बख्तरबंद कारों की खिड़कियों के शीशे कुछ सेंटीमीटर से ज्यादा नीचे नहीं खुलते, जिससे गाड़ी में बैठे सुरक्षा घेरा प्राप्त व्यक्ति राहुल के लिए कार में बैठे कार्यकर्ताओं से मिलना जुलना संभव नहीं है. इसके साथ ही घुटने भरे वाहन में ऑक्सीजन का स्तर भी कम होने पर लंबा सफर तय करना स्वास्थ्य के लिए खतरनाक है.
हालांकि गृह मंत्रालय के एक अधिकारी ने दावे को खारिज करते हुए कहा कि राहुल को बख्तरबंद टाटा सफारी वाहन दिया गया है जिसका इस्तेमाल गृह मंत्री राजनाथ सिंह और वित्त मंत्री अरूण जेटली जैसे वरिष्ठ मंत्री भी कर रहे हैं. उन्होंने पहचान उजागर ना करने की शर्त पर बताया कि इन वाहनों का इस्तेमाल जेड-प्लस सुरक्षा प्राप्त बहुत सारे लोग कर रहे हैं और इसे सुरक्षित एवं आरामदेह माना जाता है.