दिल्ली सरकार ने राहत के नाम पर सस्ती प्याज बेचने की मुहिम शुरू की है. लेकिन एक दिन के ही अंदर सरकार के दावों की पोल खुलती नज़र आ रही है.
दिल्ली सरकार ने 150 मोबाइल वैन के जरिए 600 जगह पर प्याज बेचने का दावा किया था. जबकि एक अखबारों में छपे एक सरकारी इश्तेहार से साफ है कि अब 84 वैन के जरिए केवल 209 जगह पर ही प्याज बेचा जा रहा है. वहीं सरकार ने मंडी के भाव पर लोगों को प्याज देने का दावा किया था जबकि सबसे अच्छी किस्म का प्याज भी 50 रुपए किलो नहीं बिक रहा.
थोक मंडी में प्याज की कीमत 41 रुपए किलो के आसपास बनी हुई है. सस्ते प्याज के सरकारी दावों के खिलाफ अब बीजेपी और आम आदमी पार्टी भी मैदान में उतर आई है. दोनों पार्टियों ने भी कई इलाकों में 30 से 40 रुपए किलो प्याज बेचने की मुहिम शुरू की है. बीजेपी का आरोप है कि दिल्ली की कांग्रेस सरकार राहत के नाम पर मुनाफा कमाने का काम कर रही है. बीजेपी ने सरकारी स्टॉल से अच्छी किस्म का प्याज बेचने का दावा किया है.