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'तेरा मेरा रिश्ता क्या...', CAA विरोधी प्रदर्शन की बरसी पर जामिया में नारेबाजी

सीएए के खिलाफ पांच साल पहले हुए प्रदर्शन के दौरान दिल्ली पुलिस जामिया के अंदर चली गई थी. इस घटना की 5वीं बरसी के एक दिन बाद 16 दिसंबर को जामिया मिलिया इस्लामिया यूनिवर्सिटी कैंपस में जमकर नारेबाजी हुई.

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जामिया मिलिया इस्लामिया यूनिवर्सिटी कैंपस में प्रदर्शन करते छात्र संगठन का स्टूडेंट.
जामिया मिलिया इस्लामिया यूनिवर्सिटी कैंपस में प्रदर्शन करते छात्र संगठन का स्टूडेंट.

राजधानी दिल्ली के जामिया मिलिया इस्लामिया यूनिवर्सिटी कैंपस के अंदर एक बार फिर नारेबाजी की घटना सामने आई है. दरअसल, 2019 में हुए सीएए विरोधी प्रदर्शनों और परिसर में पुलिस घुसने की 5वीं बरसी के एक दिन बाद कैंपस में नारेबाजी हुई है.

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बता दें 15 दिसंबर 2019 को सीएए/एनआरसी के विरोध में प्रदर्शन के दौरान जामिया कैंपस के आसपास हिंसा देखने को मिली थी. इसके विरोध में सोमवार की रात छात्रों ने नारेबाजी की. 

जामिया में लगाए गए ये नारे

> जामिया प्रशासन मुर्दाबाद
> संघी वीसी मुर्दाबाद
> आरएसएस मुर्दाबाद
> तेरा मेरा रिश्ता क्या, ला इलाहा इल्लल्लाह

एक दिन पहले बंद कर दी थी लाइब्रेरी

इस प्रदर्शन के एक दिन पहले 15 दिसंबर को जामिया विश्वविद्यालय ने कक्षाएं निलंबित कर दीं थीं. और लाइब्रेरी के साथ कैंटीन भी बंद करने का नोटिस जारी कर दिया था. विश्वविद्यालय परिसर में किसी भी छात्र को प्रवेश नहीं दिया गया. इस फैसले पर वामपंथी समर्थित ऑल इंडिया स्टूडेंट्स एसोसिएशन (आइसा) ने विवि प्रशासन पर हमला बोला था.

छात्र संगठन ने लगाया था आरोप

आइसा ने आरोप लगाया था कि 2019 के सीएए विरोधी प्रदर्शनों और परिसर में पुलिस बर्बरता को लेकर एक स्मरण कार्यक्रम का आयोजन किया गया था. लेकिन कैम्पस में छात्र न पहुंचे इसलिए विवि प्रशासन की तरफ से रविवार की कक्षाएं निलंबित कर दी गईं. साथ ही लाइब्रेरी को भी बंद कर दिया गया था.

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जामिया परिसर में घुस गई थी पुलिस

बता दें कि 15 दिसंबर, 2019 को नागरिकता (संशोधन) अधिनियम के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के बाद दिल्ली पुलिस जामिया परिसर में घुस गई थी. इस दौरान छात्रों से मारपीट की गई थी. इसको लेकर पूरे देश में छात्रों ने विरोध जताया था.

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