बेसमेंट में अवैध पार्किंग को लेकर साउथ एमसीडी का सख्त रुख अभी भी कायम है. मंगलवार को साउथ एमसीडी के दस्ते ने पैसेफिक मॉल और मिराज सिनेमा की बेसमेंट पार्किंग को सील कर दिया.
दरअसल, मॉल और अस्पतालों की बेसमेंट पार्किंग में निशुल्क सुविधा ना देने पर साउथ एमसीडी ने ऐसे मॉल और अस्पतालों पर कार्रवाई के आदेश दिए थे. पिछले हफ्ते ही लाजपत नगर के टीडीआई मॉल के बेसमेंट को सील कर दिया गया था. निगम के मुताबिक सीलिंग की कार्रवाई को एमसीडी एक्ट 1957 की धारा 345 A के तहत अंजाम दिया गया है.
निगम के मुताबिक पिछली बार निरिक्षण के दौरान मॉल की बेसमेंट पार्किंग का बहुत अधिक पार्किंग शुल्क लेकर दुरुपयोग किया जा रहा था, जिसके बाद मॉल प्रबंधन को नोटिस जारी किया गया था. लेकिन नोटिस का कोई संतोषजनक जवाब ना मिलने पर बेसमेंट को आज सील कर दिया गया.
मॉल के बेसमेंट में बच्चों के झूले लगाकर व्यवसायिक गतिविधियों को अंजाम दिया जा रहा था, जो कि नियमों के विरुद्ध है. दरअसल, MCD ने मॉल्स और अस्पतालों को अतिरिक्त एफएआर सिर्फ इसलिए दिया था, ताकि वो यहां आने वाले लोगों को निशुल्क पार्किंग की सुविधा दे. मॉल के अलावा साउथ MCD ने सुभाष नगर में बनी मिराज सिनेमा को भी पार्किंग में शुल्क लिए जाने के कारण सील कर दिया गया.
निगम को यहां कार्रवाई के दौरान हालात बिगड़ने की आशंका थी, इसलिए हरिनगर थाने से पुलिस बल के साथ कार्रवाई को अंजाम दिया गया.
पहले भी की थी कार्रवाई
साउथ एमसीडी ने इससे पहले बीते हफ्ते लाजपत नगर के टीडीआई मॉल के बेसमेंट को सील कर दिया था. उस वक्त साउथ एमसीडी के स्थाई समिति अध्यक्ष भुपेंद्र गुप्ता और निगम अधिकारियों का दल साउथ एमसीडी के सेंट्रल जोन के तहत आने वाले इलाकों में निरीक्षण करने पहुंचा था. निगम को काफी समय से मॉल और अस्पतालों में आने वाले लोगों से पार्किंग शुल्क लिए जाने की शिकायत मिल रही थी.
2015 में पारित किया था आदेश
आपको बता दें कि साउथ एमसीडी ने साल 2015 में ही अस्पतालों और मॉल्स में पार्किंग को पूरी तरह से निशुल्क करने के आदेश जारी कर दिए थे. लेकिन इसके बावजूद कई जगहों से सशुल्क पार्किंग की शिकायत सामने आने के बाद और हाल ही में हाईकोर्ट से नोटिस मिलने के बाद साउथ एमसीडी एक बार फिर से अपने आदेश को सख्ती से लागू करवाने में लग गई है. निगम के मुताबिक आने वाले दिनों में ऐसे निरीक्षण जारी रहेंगे, जिससे आदेश का पालन नहीं करने वालों पर कार्रवाई की जा सके.