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कंझावला केस: अंजलि हत्याकांड के आरोपियों पर अब चलेगा हत्या का केस, FIR में जुड़ी धारा 302

कंझावला कांड में दिल्ली पुलिस ने बड़ा कदम उठाया है. अब आरोपियों पर दर्ज FIR में पुलिस ने आईपीसी की धारा 302 यानी हत्या की धारा जोड़ दी है. इस मामले में पांच मुख्य आरोपी पुलिस कस्टडी में हैं. वहीं दो आरोपियों को जमानत मिल चुकी है.

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कंझावला कांड में अंजलि की मौत हो गई थी
कंझावला कांड में अंजलि की मौत हो गई थी

दिल्ली के कंझावला केस में पुलिस ने 17 दिन बाद सख्त एक्शन लिया है. अब इस मामले में पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ दर्ज FIR में आईपीसी की धारा 302 जोड़ी है. पहले आरोपियों के खिलाफ धारा 304 लगाई गई थी. लेकिन, जांच के बाद अब पुलिस ने 304 की जगह धारा 302 लगा दी है. स्पेशल सीपी जोन-2 लॉ एंड ऑर्डर सागर प्रीत हुड्डा ने बताया कि पुलिस की जांच के बाद आरोपियों के खिलाफ ये कार्रवाई की गई है.

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सुल्तानपुरी में नए साल की रात कार सवार युवकों ने स्कूटी सवार अंजलि को टक्कर मार दी थी, उसके बाद अंजलि को कार से 13 किमी तक घसीटा था. इस घटना में अंजलि की मौत हो गई थी. मामले में 1 जनवरी को आरोपियों के खिलाफ आईपीसी की धारा 279, 304ए, 304, 120बी/34) के खिलाफ केस दर्ज किया था. इस केस में भौतिक, मौखिक, फोरेंसिक एवं अन्य वैज्ञानिक साक्ष्यों को एकत्रित किया गया. उसके बाद पुलिस ने आईपीसी की धारा 304 की जगह पर धारा 302 जोड़ी गई है. मामले में आगे की जांच जारी है.

किन आधारों पर जोड़ी गई धारा 302?

दिल्ली पुलिस ने आरोपियों की 31 दिसंबर से लेकर 1 जनवरी तक की रूट की CCTV पैमिंग की थी. इसके आधार पर और आरोपियों के कबूलनामे के बाद पुलिस ने एक्शन लिया.

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- वारदात के बाद आरोपी 2 जगह कार से नीचे झांकते हुए दिखाए दिए. सीसीटीवी दिल्ली पुलिस ने कब्जे में लिया है और फोरेंसिक एक्सपर्ट को सीसीटीवी भेजा गया है.
- आरोपियों ने कबूल किया है कि उन्हें पता चल गया था कि कार के नीचे ह्यूमन बॉडी है बावजूद इसके वो गाड़ी चलाते रहे.
- आज तक/इंडिया टूडे से बातचीत में गवाह निधि ने बताया था की आरोपी जान गए थे की लड़की फंसी हुई है लेकिन फिर भी गाड़ी चलाते रहे.

302 पर अदालत में कहां फंस सकता है मामला?
- 302 यानी हत्या के मामले में दिल्ली पुलिस को हत्या का मकसद भी बताना होगा. मतलब, किस वजह से आरोपियों ने हत्याकांड को अंजाम दिया.
- दिल्ली पुलिस शुरू से कहा रही है कि दो गाड़ियों की टक्कर हुई जिसके बाद अंजली कार में फंसी और घसीटा गया जिससे उसकी मौत हुई.
- इस मामले में चश्मदीद भी पुलिस के पास है जिसने बताया की स्कूटी और कार की टक्कर हुई थी.

इन वजहों से 302 यानी अदालत में हत्या को साबित करना एक टेढ़ी खीर साबित होगा.

अपने बयान में दिल्ली पुलिस ने यह भी बताया कि MACT (Motor Accidents Claims Tribunal) को फर्स्ट एक्सीडेंट रिपोर्ट (FAR) सौंप दी गई है. कहा गया है कि अंजलि के परिवार को ज्यादा से ज्यादा एक्सीडेंट क्लेम दिलवाने की कोशिश जारी है.

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दो आरोपियों को अबतक मिल चुकी है जमानत

कंझावला कांड के आरोपी आशुतोष भारद्वाज को दिल्ली की रोहिणी कोर्ट ने मंगलवार को ही जमानत दी है. आशुतोष भारद्वाज की बलेनो कार से ही वह हादसा हुआ था, जिसमें अंजलि की जान गई थी. इससे पहले कोर्ट ने आरोपी अंकुश को भी जमानत दी थी.

यह मामला 20 साल की अंजलि की मौत से जुड़ा है. जिसकी मौत 31 दिसंबर की रात को सुल्तानपुरी (कंझावाला) में हुई थी. अबतक की जांच के मुताबिक, उसकी स्कूटी आरोपियों की बलेनो गाड़ी से टकरा गई थी. इसके बाद अंजलि गाड़ी के नीचे फंस गई लेकिन आरोपियों ने जाने-अनजाने कार नहीं रोकी. वे इसी तरह कार को चलाते रहे. इस दौरान करीब 12 किलोमीटर घिसटने के बाद अंजलि की मौत हो गई.

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