पंजाब और गोवा विधानसभा चुनाव में करारी शिकस्त के बाद आम आदमी पार्टी के मुखिया अरविंद केजरीवाल का मिशन गुजरात खटाई में पड़ता नजर आ रहा है. आम आदमी पार्टी के सूत्रों के मुताबित 26 मार्च को गुजरात के गांधीनगर में प्रस्तावित आम आदमी पार्टी की जनसभा को एक कार्यकर्ता सम्मेलन में तब्दील कर दिया गया है.
पंजाब के चुनावों के पहले की योजना के मुताबिक केजरीवाल गांधीनगर में 26 मार्च को विशाल जनसभा कर गुजरात में इसी साल होने वाले विधानसभा चुनाव का बिगुल फूंकने वाले थे. लेकिन दोनों राज्यों के नतीजों ने केजरीवाल के सभी अरमानों पर पानी फेर दिया है.
गोपाल राय संचालित करेंगे कार्यक्रम
सूत्रों के मुताबिक गांधीनगर में पार्टी अब 26 मार्च को कार्यकर्ता सम्मेलन करेगी. वहीं इस कार्यक्रम में अरविंद केजरीवाल के शामिल होने पर सस्पेंस बन गया
है. आम आदमी पार्टी के विश्वस्त सूत्रों के मुताबिक अरविंद केजरीवाल 26 मार्च को गुजरात के गांधीनगर में पार्टी के कार्यकर्ता संवाद में जाने की योजना रद्द
कर सकते हैं. पूरे कार्यक्रम को पार्टी के गुजरात इंचार्ज गोपाल राय संचालित करेंगे जो फिलहाल गुजरात में ही डेरा डाले हुए हैं और प्रदेश में संगठन विस्तार
का काम देख रहे हैं.
एमसीडी चुनाव के मद्देनजर दौरा रद्द
सूत्रों की मानें तो केजरीवाल के गुजरात दौरे के रद्द होने की संभावना के पीछे पंजाब और गोवा में हार और अगले महीने दिल्ली में होने वाले नगर निगम
चुनाव बड़ी वजह है. दिल्ली के निगम चुनाव केजरीवाल के लिए प्रतिष्ठा का चुनाव बन गया है. वहीं एमसीडी में 10 साल से शासन कर रही बीजेपी भ्रष्टाचार
और तमाम आरोपों के चलते जबरदस्त एंटी इनकमबेंसी का सामना कर रही है. लेकिन पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव में जबरदस्ती जीत के बाद दिल्ली
का निगम चुनाव भी बीजेपी के लिए नाक का सवाल बन गया है. जाहिर है बीजेपी और आप दोनों ही इस चुनाव में सब कुछ दांव पर लगाने के लिए तैयार
हैं.
गुजरात में बीजेपी को चुनौती देना मुश्किल
सूत्रों की मानें तो पार्टी को लगता है कि केजरीवाल के गुजरात दौरे को बीजेपी निगम चुनाव के ठीक पहले कहीं मुद्दा ना बना ले. साथ ही जनता में ये संदेश
ना जाए कि केजरीवाल सिर्फ दिल्ली से बाहर ध्यान दे रहे हैं. पंजाब और गोवा में चुनाव हारने के बावजूद आम आदमी पार्टी पंजाब में मुख्य विपक्ष बनकर
उभरी है, लेकिन गोवा में पार्टी के लगभग सभी उम्मीदवारों की जमानत जब्त हो गई थी. वहीं बीजेपी ने उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में जीत के साथ गोवा
में भी सरकार बनाकर एक जबरदस्त माहौल बनाया है. ऐसे में गुजरात में जो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का गढ़ है, वहां घुसकर बीजेपी को चुनौती देना
केजरीवाल के लिए बेहद मुश्किल हो सकता है. साथ ही अगर निगम चुनाव में जीत नहीं मिली तो दिल्ली में जहां उनकी अपनी सरकार है, वहां भी उनकी
लोकप्रियता पर सवाल उठ सकते हैं. इसलिए कयास लगाए जा रहे हैं कि केजरीवाल 26 मार्च को होने वाले गुजरात कार्यक्रम में हिस्सा लेने की योजना रद्द
कर सकते हैं.