scorecardresearch
 

CM तीरथ का विरोध, फटी जींस पहनकर दिल्ली में रैली निकालेंगी महिला कांग्रेस की नेता

महिला कांग्रेस की नेताओं ने तीरथ सिंह के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने का फैसला किया है. जिसके तहत शुक्रवार को दिल्ली के राजीव चौक में कांग्रेस की महिला नेता फटी जींस पहन कर रैली निकालेंगी.

Advertisement
X
Tirath Singh Rawat
Tirath Singh Rawat
स्टोरी हाइलाइट्स
  • फटी जींस पहनकर दिल्ली में हल्ला बोल
  • स्वाति मालीवाल ने साधा सीएम तीरथ सिंह पर निशाना

उत्तराखंड के नए मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के 'फटी जींस' पर दिए गए बयान पर विवाद गहराता जा रहा है. जहां एक तरफ दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने सीएम पर निशाना साधा है. वहीं दूसरी तरफ शुक्रवार को महिला कांग्रेस की नेताओं ने भी तीरथ सिंह के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने के लिए सड़क पर उतरने की ठानी है. जानकारी के मुताबिक दिल्ली के राजीव चौक में कांग्रेस की महिला नेता सीएम के बयान के विरोध में फटी जींस पहन कर रैली निकालेंगी.

वहीं बताया जा रहा है कि उत्तराखंड सीएम तीरथ सिंह शुक्रवार को दिल्ली में बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा से मुलाकात करेंगे. ऐसे में अनुमान लगाया जा रहा है कि तीरथ सिंह के बयान को लेकर भी इस मुलाकात में चर्चा हो सकती है. 

Advertisement

इससे पहले स्वाति मालीवाल ने सीएम के बयान पर कहा कि उत्तराखंड के सीएम को लड़कियों के जींस पहनने से दिक्कत है. मुख्यमंत्री तो बन गए पर दिमाग अभी भी सड़क छाप है. वो दिन दूर नहीं, जब जींस पहनने पर ये यूएपीए लगा देंगे. 
 

क्या है मामला

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत हाल ही में बाल अधिकार संरक्षण आयोग की एक कार्यशाला में पहुंचे थे. जहां  सीएम ने कहा कि आजकल महिलाएं फटी जींस पहन कर चल रही हैं, क्या ये सब सही है? ये कैसे संस्कार हैं? सीएम ने एक वाकया सुनाते हुए कहा कि जब वो एक बार फ्लाइट से सफर कर रहे थे तो उन्होंने देखा कि एक महिला अपने दो बच्चों के साथ पास में बैठी थी, जिन्होंने फटी हुई जींस पहन रखी थी. सीएम ने आगे बताया कि जब मैंने उनसे पूछा कि बहनजी कहां जाना है तो महिला ने जवाब दिया कि दिल्ली जाना है. उनके पति जेएनयू में प्रोफेसर हैं और वो खुद एक एनजीओ चलाती हैं. 

Advertisement

सीएम ने कहा कि मैंने सोचा जो महिला एनजीओ चलाती हो और फटी हुई जींस पहनती हो वो समाज में क्या संस्कृति फैलाती होंगी. जब हम स्कूल में पढ़ते थे तब ऐसा नहीं होता था. 
 

 

Advertisement
Advertisement