scorecardresearch
 

सोमनाथ मंदिर के आसपास हुए बुलडोजर एक्शन का मामला पहुंचा सुप्रीम कोर्ट, अवमानना याचिका दाखिल

दरअसल, गुजरात के सोमनाथ मंदिर से 1.5 किलोमीटर की दूरी पर सरकारी जमीन पर रहे अवैध निर्माणों को शुक्रवार देर रात से हटाया गया था. इस दौरान हुई कार्रवाई से 15 हेक्टेयर सरकारी जमीन के अवैध निर्माण हटे हैं और इसकी कीमत 60 करोड़ रुपये बताई जा रही है.

Advertisement
X
सोमनाथ मंदिर के आसपास हुए बुलडोजर एक्शन का मामला पहुंचा सुप्रीम कोर्ट. (फाइल फोटो)
सोमनाथ मंदिर के आसपास हुए बुलडोजर एक्शन का मामला पहुंचा सुप्रीम कोर्ट. (फाइल फोटो)

गुजरात के सोमनाथ मंदिर के आसपास कथित अवैध निर्माण पर हाल ही में हुए बुलडोजर एक्शन का मामला अब सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है. पटनी मुस्लिम समाज ने सुप्रीम कोर्ट में अवमानना याचिका दाखिल की है. इस ​​याचिका में गिर सोमनाथ के कलेक्टर और अन्य अधिकारियों के खिलाफ अवमानना ​​कार्रवाई की मांग की गई है. याचिका में दरगाह मंगरोली शाह बाबा, ईदगाह, प्रभास पाटन, वेरावल, गिर सोमनाथ में स्थित कई अन्य स्ट्रक्चर के कथित अवैध विध्वंस का हवाला दिया गया है.अवमानना याचिका में कहा गया है कि सुप्रीम कोर्ट के बुलडोजर एक्शन पर रोक के आदेश के बाद बड़े पैमाने पर तोड़फोड़ की.

Advertisement

याचिका में लगाया गया ये आरोप

सुप्रीम कोर्ट में दायर अवमानना ​​याचिका में कहा गया है कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश का उल्लंघन करते हुए गुजरात के गिर सोमनाथ में सदियों पुरानी मस्जिदों, मकबरों और मुतवल्लियों के घरों को अवैध रूप से तोड़ा गया है. न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूर्ति के वी विश्वनाथन की पीठ आज बुलडोजर से विध्वंस के खिलाफ याचिकाओं पर सुनवाई करेगी. बता दें कि शीर्ष अदालत ने आज तक देश भर में सभी विध्वंसों पर रोक लगा दी थी.

यह भी पढ़ें: असम में बुलडोजर कार्रवाई पर यथास्थिति रहेगी: सुप्रीम कोर्ट ने राज्य को भेजा नोटिस

मंदिर के आसपास हटाया गया अवैध निर्माण

गुजरात के सोमनाथ मंदिर से 1.5 किलोमीटर की दूरी पर सरकारी जमीन पर रहे अवैध निर्माणों को शुक्रवार देर रात से हटाया गया. इस दौरान हुई कार्रवाई से 15 हेक्टेयर सरकारी जमीन के अवैध निर्माण हटे हैं और इसकी कीमत 60 करोड़ रुपये बताई जा रही है. दरअसल, उज्जैन कॉरिडोर की तरह सोमनाथ में भी कोरिडोर बनना है, जिसके लिए केन्द्र सरकार से मंजूरी मिल चुकी है. सोमनाथ मंदिर के विकास के लिए अनेक योजनाओं पर काम चल रहा है.

Advertisement

कोर्ट ने बुलडोजर एक्शन को लेकर दिया था ये फैसला

बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने डिमोलिशन यानी बुलडोजर एक्शन पर रोक लगा दी थी. यह रोक एक अक्टूबर तक के लिए लगाई गई थी. कोर्ट का कहना था कि सार्वजनिक अतिक्रमण पर ही एक्शन होगा. कोर्ट ने बुलडोजर कार्रवाई पर राज्यों को निर्देश देते हुए कहा था कि बुलडोजर न्याय का महिमामंडन बंद होना चाहिए. कानूनी प्रक्रिया के तहत ही अतिक्रमण हटाएं. सॉलिसिटर जनरल ने कहा कि अवैध निर्माण पर तो नोटिस के बाद ही बुलडोजर चल रहे हैं. इस पर जस्टिस बीआर गवई ने कहा कि सड़कों, गलियों, फुटपाथ या सार्वजनिक जगहों पर किए अवैध निर्माण को समुचित प्रक्रिया के साथ ढहाने की छूट रहेगी.

Live TV

Advertisement
Advertisement