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तरुण गोगोई और अहमद पटेल: 36 घंटे में कांग्रेस ने दो दिग्गज खोए, दोनों गांधी परिवार के भरोसेमंद

असम के पूर्व मुख्यमंत्री तरुण गोगोई के निधन के बाद अब कांग्रेस के दिग्गज नेता अहमद पटेल का निधन हो गया है. दोनों ही नेताओं की गिनती कांग्रेस के सबसे भरोसेमंद सारथी के तौर पर होती थी, तो वहीं दोनों ही गांधी परिवार के करीबी भी माने जाते थे.

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कांग्रेस ने खोए दो दिग्गज नेता (फाइल फोटो)
कांग्रेस ने खोए दो दिग्गज नेता (फाइल फोटो)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • कांग्रेस नेता अहमद पटेल का निधन
  • एक महीने पहले कोरोना की चपेट में आए थे
  • सोमवार को तरुण गोगोई का भी निधन हुआ था

देश के सबसे पुराने राजनीतिक दल कांग्रेस को पिछले दो दिन में दो गहरे सदमे लगे हैं. असम के पूर्व मुख्यमंत्री तरुण गोगोई के निधन के बाद अब कांग्रेस के दिग्गज नेता अहमद पटेल का निधन हो गया है. दोनों ही नेताओं की गिनती कांग्रेस के सबसे भरोसेमंद सारथी के तौर पर होती थी, तो वहीं दोनों ही गांधी परिवार के करीबी भी माने जाते थे. पूर्व में तरुण गोगोई ने लंबे वक्त तक कांग्रेस का किला संभाले रखा, तो पश्चिम और उत्तर भारत में वही काम अहमद पटेल करते आए लेकिन अब दोनों ही इस दुनिया को अलविदा कह चुके हैं.

तरुण गोगोई का निधन, असम में थे कांग्रेस की धुरी
असम के पूर्व सीएम तरुण गोगोई का सोमवार को निधन हुआ, सियासत में करीब पांच दशक तक एक्टिव रहने वाले तरुण गोगोई ने इंदिरा गांधी के राज में 1971 में पहली बार संसद का रुख किया था. जिसके बाद उन्होंने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा. करीब डेढ़ दशक तक तरुण गोगोई असम के सीएम पद पर रहे और पार्टी पर एकछत्र राज किया. ऐसा कम ही होता है जब पूर्वोत्तर के किसी नेता की पहुंच दिल्ली तक हो, लेकिन तरुण गोगोई सबसे अलग थे. जितना सियासी रुतबा वो असम में रखते थे, उतनी ही पहुंच उनकी दिल्ली में भी थी. 

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तरुण गोगोई ने इंदिरा गांधी, राजीव गांधी, सोनिया गांधी और अब राहुल गांधी के साथ काम किया. हर बार गांधी परिवार ने उनपर भरोसा व्यक्त किया. लेकिन करियर के अंतिम दौर में उन्होंने राज्य में मुश्किलों का सामना करना पड़ा, हेमंता बिस्वा शर्मा ने जब कांग्रेस छोड़ी तो उन्हीं के साथ कांग्रेस की सरकार को भी झटका लग गया. तरुण गोगोई की उम्र 85 साल थी. 

कांग्रेस के चाणक्य अहमद पटेल ने भी कहा अलविदा
गुजरात से आने वाले अहमद पटेल कांग्रेस पार्टी के चाणक्य माने जाते थे और पिछले करीब तीन दशक से कांग्रेस की धुरी उनके इर्दगिर्द ही घूमती दिखाई देती थी. अहमद पटेल लंबे वक्त से सोनिया गांधी के सियासी सलाहकार थे, राजीव गांधी के निधन के बाद जब सोनिया ने पार्टी को संभाला तो तब से अबतक अहमद पटेल उनके साथ ही रहे. इस बीच यूपीए सरकार का कार्यकाल हो, राज्यों में विधानसभा चुनाव, पार्टी में कोई खटपट हो या फिर अन्य कोई बड़ा मसला हो, हर बार अहमद पटेल ने कांग्रेस को संकट से बाहर निकाला है.

अहमद पटेल पिछले महीने ही कोरोना के चपेट में आए थे, जिसके बाद से ही उनकी तबीयत लगातार खराब बनी रही. अब बुधवार सुबह उनका निधन हो गया. कांग्रेस नेता सोनिया गांधी, राहुल गांधी, प्रियंका गांधी वाड्रा ने अहमद पटेल के निधन पर दुख व्यक्त किया है. 

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