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मोरबी हादसे की आंखों देखी: पुल टूटा तो एक-दूसरे पर गिरने लगे लोग, चिल्लाते रहे बाहर निकालो…

गुजरात के मोरबी में मच्छु नदी पर बने 100 साल से अधिक पुराने केबल ब्रिज के टूटने से पूरा देश दहल गया है. इस घटना में मरने वालों की संख्या 141 हो गई है. मृतकों में बड़ी संख्या महिलाओं और बच्चों की है, जो छठ पर्व और रविवार होने की वजह से यहां पहुंचे थे.

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मोरबी में ब्रिज टूटा
मोरबी में ब्रिज टूटा

गुजरात के मोरबी में मच्छु नदी पर केबल ब्रिज के रविवार शाम को टूटने से मौत का मंजर देखने को मिला. इस घटना में मरने वालों की संख्या 141 हो गई है. लगभग 50 से अधिक लोग लापता बताए जा रहे हैं. एयरफोर्स और नेवी के साथ एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की तीन-तीन टीमें बचाव कार्यों में जुटी हैं. 

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चश्मदीदों का कहना है कि यह घटना शनिवार शाम 6.30 बजे उस हुई जब ब्रिज पर बड़ी संख्या में महिलाएं और बच्चे मौजूद थे. ब्रिज के टूटते ही लोग एक-दूसरे पर गिरने लगे. कहा जा रहा है कि ब्रिज पर क्षमता से अधिक लोगों के होने की वजह से यह टूट गया. रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान शवों को लगातार बाहर निकाला जा रहा है. पुल के टूटे हिस्सों को काटकर अलग किया जा रहा है. पुल के नीचे लोगों के दबे होने की आशंका जताई जा रही है.

खौफ का मंजर चश्मदीदों की जुबानी

मोरबी में मच्छु नदी पर बना जो ब्रिट टूटा है, उसके पास ही नमक की एक फैक्ट्रियां हैं, जहां काम करने वाले मजदूरों ने अपनी आंखों से इस भयावह मंजर को देखा. उनका कहना है कि पुल के टूटते ही इसमें लगी लोहे की प्लेट पलट गईं, जिससे लोग इसके नीचे दब गए. पुल टूटने के बाद अपनी जान बचाने के लिए बड़ी संख्या में लोग पुल की केबल से लटक गए थे. 

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एक चश्मदीद ने बताया कि ब्रिज पर तकरीबन 400 से ज्यादा लोग मौजूद थे. हम पुल पर लोग इतने लोगों को देखकर हैरान थे. रविवार होने की वजह से भारी संख्या में लोग यहां आए थे. पुल पर इतने लोगों के होने की वजह से वह लचक गया था. हमने चिल्ला-चिल्लाकर ब्रिज पर खड़े लोगों से उतर जाने को कहा. हमने उनसे कहा कि पुल टूट सकता है. लेकिन ब्रिज पर मौजूद लोग पुल को हिला-हिलाकर झूला झूलने में लगे थे. शायद इसी वजह से यह पुल टूट गया. 

इस घटना के गवाह रहे एक अन्य चश्मदीद ने बताया कि पुल टूटते ही चारों तरफ चीख-पुकार मच गई. हम सभी लोग मदद के लिए भागे. तकरीबन 150 से 200 लोग तैरकर नदी से बाहर निकलने में कामयाब रहे लेकिन बहुत पब्लिक थी, जो वहां फंसी हुई थी. इनमें महिलाएं और बच्चे सबसे अधिक थे. पुल टूटने से नदी में गिरे लोग या पुल की केबल और जालियों से लटके लोग मदद के लिए चिल्ला रहे थे. वे सब बोल रहे थे कि पहले हमें बाहर निकालो. एक बच्चे ने हमारे सामने ही दम तोड़ दिया.

बता दें कि शनिवार शाम को मच्छी नदी पर केबल ब्रिज टूटने से 100 से अधिक लोगों की मौत हो गई है. घटना की भयावहता को देखते हुए इसकी जांच के लिए एसआईटी की पांच सदस्यीय टीम का गठन किया गया है.

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