scorecardresearch
 

तार में कम लचीलापन, पुल पर कूदना-नाचना... एक्सपर्ट ने बताई मोरबी हादसे की ये वजह

गुजरात के मोरबी में एक भयंकर हादसे ने 135 लोगों की जान ले ली. एक झटके में कई परिवार हमेशा के लिए उजड़ गए. अब हादसा तो हो गया लेकिन अपने पीछे कई सवाल छोड़ गया. ये सवाल प्रशासन पर है, ये सवाल ब्रिज बनाने में इस्तेमाल हुए मटेरियल पर है, ये सवाल ब्रिज पर उछलते-कूदते लोगों पर है. लेकिन असल में किस कारण से इतनी बड़ी त्रासदी हुई, ये समझने का प्रयास आजतक ने किया है.

Advertisement
X
मोरबी हादसा
मोरबी हादसा

गुजरात के मोरबी में एक भयंकर हादसे ने 135 लोगों की जान ले ली. एक झटके में कई परिवार हमेशा के लिए उजड़ गए. अब हादसा तो हो गया लेकिन अपने पीछे कई सवाल छोड़ गया. ये सवाल प्रशासन पर है, ये सवाल ब्रिज बनाने में इस्तेमाल हुए मटेरियल पर है, ये सवाल ब्रिज पर उछलते-कूदते लोगों पर है. लेकिन असल में किस कारण से इतनी बड़ी त्रासदी हुई, ये समझने का प्रयास आजतक ने किया है. नेताजी सुभाष यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्नोलॉजी के प्रोफेसर मेहताब आलम से खास बातचीत की गई है. वे पिछले तीस सालों से छात्रों को स्ट्रक्चरल इंजीनियरिंग पढ़ा रहे हैं.

Advertisement


सवाल- सस्पेंशन ब्रिज में इस्तेमाल होने वाले तार की कितनी ताकत होती है?

जवाब- सस्पेंशन ब्रिज को लेकर ये बताना आसान नहीं कि कोई तार कितना लोड ले सकता है. मोरबी मामले में तो लगता है कि तारों में लचीलापन कम था

सवाल- मतलब ब्रिज में इस्तेमाल होने वाले तार बेहतर क्वालिटी के हो सकते थे?

जवाब- मुझे नहीं पता क्या मटेरियल इस्तेमाल किया गया. कौन से ग्रेड का मटेरियल था. लेकिन जिस तरह से ये टूटा है, लगता है कि लचीलेपन की साफ कमी थी.

सवाल- जब हैंगिंग वाले ब्रिज टूट जाते हैं, क्या इतनी मजबूत स्टील तारों का टूटना सामान्य है?

जवाब- सस्पेंशन तारों में वीयर एंड टीयर वाला कॉन्सेप्ट नहीं होता है. जब जरूरत से ज्यादा वजन आ जाता है, तो टूटने से नहीं बचा जा सकता है.

Advertisement

सवाल- क्या किसी दूसरे कारण की वजह से इन स्टील तारों ने अपनी ताकत खो दी?

जवाब- ऐसे नहीं होता है. मुझे नहीं लगता है कि ब्रिज के तार किसी केमिकल या दूसरे कारण की वजह से कमजोर हो गए थे. अभी हाल ही में रिनोवेशन हुआ था, ऐसे में तारों का जीर्णशीर्ण होना मुश्किल लगता है.

सवाल- जब ब्रिज की पहले से ऐसी हालत थी, रिपेयर की जगह क्या इसे स्क्रैप नहीं किया जा सकता था?

जवाब- इस बारे में बोलना आसान नहीं. लेकिन जिन भी ब्रिज की रिनोवेशन की जाती है, उनकी चेकिंग जरूरी है. मोरबी मामले में भी भीड़ को काबू करना चाहिए था और जो लोग नांच और कूद रहे थे, उसकी भी मंजूरी नहीं मिलनी चाहिए थी.

सवाल- कई लोग तो लोगों के हिलने और कूदने को ब्रिज टूटने का कारण नहीं मान रहे?

जवाब- हमे ये समझना होगा, कूदने से, हिलने से केबल पर काफी प्रेशर पड़ता है. हादसे का ये भी एक कारण हो सकता है. जो भीड़ थी, उसको काबू करना चाहिए था.

अब प्रोफेसर मेहताब आलम के ये जवाब इशारा करते हैं कि मोरबी हादसे को टाला जा सकता था अगर भीड़ को ठीक तरह से काबू किया जाता. अगर पुल पर जरूरत से ज्यादा भीड़ को नहीं आने दिया जाता. उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया है कि अगर किसी ब्रिज का रिनोवेशन होता है, उसकी समय-समय पर चेकिंग जरूरी है.

Advertisement
Advertisement