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पीएम मोदी ने मनाया अपनी मां का 100वां जन्मदिन, पैर पखारे और गिफ्ट में दी शॉल, देखिए तस्वीरें

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गुजरात के दौरे पर हैं. पीएम मोदी ने गांधीनगर पहुंचकर अपनी मां हीराबेन का सौवां जन्मदिन मनाया. पीएम मोदी ने अपनी मां के पैर पखारे और गिफ्ट में शॉल भी दी.

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पीएम मोदी ने मां हीराबेन से लिया आशीर्वाद
पीएम मोदी ने मां हीराबेन से लिया आशीर्वाद
स्टोरी हाइलाइट्स
  • गांधीनगर पहुंच पीएम ने लिया मां का आशीर्वाद
  • पीएम ने मां के साथ घर के मंदिर में की पूजा

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मां हीराबेन का आज सौवां जन्मदिन है. अपनी मां के सौवें जन्मदिन के खास अवसर पर पीएम मोदी गुजरात के दौरे पर हैं. पीएम मोदी ने गांधीनगर पहुंचकर अपनी मां का आशीर्वाद लिया और उनकी पूजा-अर्चना भी की. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी मां के पैर पखारे और गिफ्ट में शॉल भी दी.

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी मां की पूजा-अर्चना कर उनका आशीर्वाद लिया. प्रधानमंत्री मोदी अपनी मां के चरणों में बैठकर उनसे बातें करते भी नजर आए. इससे पहले, पीएम मोदी की मां हीराबेन के उम्र के सौवें वर्ष में प्रवेश करने के मौके पर घर में विशेष पूजा भी आयोजित हुई.

अपनी मां के पैर पखारते पीएम मोदी
अपनी मां के पैर पखारते पीएम मोदी

पीएम मोदी के भाई ने घर में विशेष पूजा-पाठ के बाद मौजूद सभी लोगों का मुंह मीठा कराया. पीएम मोदी ने अपनी मां हीराबेन के साथ घर में बने मंदिर में भी पूजा-अर्चना की. गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी मां के सौवें जन्मदिन पर पावागढ़ भी जाएंगे.

अपनी मां का आशीर्वाद लेते पीएम मोदी
अपनी मां का आशीर्वाद लेते पीएम मोदी

पीएम मोदी के पावागढ़ पहुंचकर मां काली की पूजा-अर्चना करने का भी कार्यक्रम है. पीएम मोदी की पावागढ़ की काली मैया में बड़ी आस्था है और यही वजह है कि वे अपनी मां के उम्र के सौवें वर्ष में प्रवेश करने के खास मौके पर पूजा-अर्चना के लिए यहां पहुंच रहे हैं.

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पीएम ने पखारे मां के पैर
पीएम ने पखारे मां के पैर

मंदिर के शिखर पर होगा ध्वजारोहण

पावागढ़ मंदिर के शिखर पर आज ध्वजारोहण भी होगा. कहा जा रहा है कि 500 साल बाद ऐसा मौका आया है, जब मंदिर के शिखर पर ध्वजारोहण होगा. इस मंदिर का इतिहास काफी पुराना है. पावागढ़ के मंदिर में मां काली की आंखों के ही दर्शन होते हैं. यहां पहुंचने के लिए पहले रोप-वे का सहारा लेना पड़ता है और इसके बाद 250 सीढ़ियां चढ़नी पड़ती है.

 

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