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नौकरी का झांसा और 14 लाख के गहने की ठगी... सूरत पुलिस ने फर्जी महिला डिप्टी कलेक्टर को किया गिरफ्तार

सूरत में हेतल पटेल नामक महिला ने फर्जी डिप्टी कलेक्टर दो लोगों से ठगी की है. आरोपी ने एक ज्वेलर्स को फर्जी चेक देकर 14 लाख रुपये के गहने ठग लिए. इसके अलावा एक शख्स से सूरत महानगरपालिका में सफाई कर्मचारी के तौर पर नौकरी दिलवाने के लिए 1 लाख 49 हज़ार रुपये ले लिए. फिलहाल, पुलिस ने आरोपी महिला और उसके एक साथी को गिरफ्तार कर लिया है.

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पुलिस की गिरफ्त में आरोपी.
पुलिस की गिरफ्त में आरोपी.

सूरत पुलिस ने हेतल पटेल नामक महिला को गिरफ्तार किया है. वह फर्जी डिप्टी कलेक्टर बनकर सूरत महानगरपालिका में सफाई कर्मचारी की नौकरी दिलवाने के बहाने एक शख्स से एक लाख चालीस हजार रुपये की ठगी की थी. इतना ही नहीं उसे नकली कॉल लेटर और नकली ट्रेनिंग लेटर भी बनाकर दिया था. आरोपी महिला और उसके साथी के खिलाफ सलाबतपुरा पुलिस थाने में धोखाधड़ी का मामला दर्ज करवाया गया है.

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सूरत पुलिस के डीसीपी भागीरथ गढ़वी ने बताया कि दो दिन पहले सलाबतपुरा पुलिस थाना क्षेत्र अंतर्गत आने वाले चामुंडा ज्वेलर्स के मालिक के पास जाकर हेतल पटेल ने खुद की पहचान डिप्टी कलेक्टर रूप में दी थी. ज्वेलर्स को झांसे में लेने के लिए नकली डिप्टी कलेक्टर हेतल पटेल ने सूरत शहर के सारोली पुलिस थाने में मोबाइल छीनने की रिपोर्ट दर्ज करवाई थी.

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'14 लाख रुपये के गहने की ठगी'

इसी रिपोर्ट को आधार फर्जी डिप्टी कलेक्टर के झांसे में ज्वेलर्स का मालिक आ गया और उसने 14 लाख रुपये के गहने उसे दे दिए. फर्जी डिप्टी कलेक्टर द्वारा ज्वेलर्स के मालिक को दिए गए चेक रिटर्न हो जाने पर उसे ठगी का एहसास हुआ. इसके बाद उसने पुलिस का संपर्क किया और ठगी की शिकार हुए ज्वेलर्स मलिक ने सलाबतपुरा पुलिस थाने में मामला दर्ज करवाया.

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'नौकरी दिलवाने के बहाने 1 लाख 49 हज़ार रुपये की ठगी'

इसके बाद पुलिस ने आरोपी महिला को गिरफ्तार कर लिया. सूरत पुलिस की इस जांच के दौरान पता चला कि फर्जी डिप्टी कलेक्टर ने सिर्फ ज्वेलर्स मलिक को ही नहीं ठगा था. उससे पहले अनेक लोगों को ठगी का शिकार बना चुकी है. उसके खिलाफ सूरत समेत गुजरात के कई इलाकों में ठगी के मामले भी दर्ज हो चुके हैं. पुलिस की जांच में पता चला कि सूरत महानगरपालिका में सफाई कर्मचारी के तौर पर नौकरी दिलवाने के लिए आरोपी महिला ने एक शख्स से 1 लाख 49 हज़ार रुपये ले लिए थे.

'18 लोगों को नौकरी दिलवाने का दिया था झांसा'

पीड़ित शख्स को भरोसा दिलाने के लिए उसने सफाई कर्मचारी की भर्ती का फर्जी कॉल लेटर और ट्रेनिंग लेटर भी बना कर दे दिए थे. उसने ख़ुद की पोस्टिंग गांधीनगर में बताकर तीन-चार महीने में जॉब पर बुलाने की बात कही थी. लेकिन बाद में उसे बुलाया नहीं गया था. यही नहीं आरोपी सूरत महानगरपालिका के अलग-अलग विभागों में नौकरी दिलवाने के लिए करीब 18 लोगों को झांसा दिया था. फिलहाल, पुलिस अन्य लोगों से भी संपर्क कर रही है, जिससे फर्जी डिप्टी कलेक्टर बनकर लोगों के साथ धोखाधड़ी करने वाली हेतल पटेल और उसके साथी को कड़ी से कड़ी सजा हो सके.

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