गुजरात के कच्छ जिले में भारत-पाकिस्तान सीमा के पास स्थित हरामी नाला इलाके में ज्वारीय चैनल में फंसे एक निजी कंपनी के तीन कर्मचारियों को 16 घंटे के लंबे अभियान के बाद सुरक्षित बचा लिया गया.
कच्छ पश्चिम के पुलिस अधीक्षक विकास सुंडा ने बताया कि गुजरात हेवी केमिकल्स लिमिटेड (GHCL) की जमीन के सर्वेक्षण के लिए तीन कर्मचारी शुक्रवार को ड्रेजिंग मशीन के जरिए हरामी नाला क्रीक क्षेत्र के पूर्वी हिस्से में पहुंचे थे. लेकिन पानी के बढ़ते स्तर और प्रतिकूल परिस्थितियों के कारण वे वहीं फंस गए और वापस नहीं लौट सके.
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रेस्क्यू ऑपरेशन कैसे हुआ?
सुंडा ने बताया कि GHCL अधिकारियों ने शनिवार सुबह पुलिस को सूचना दी, जिसके बाद पुलिस और सीमा सुरक्षा बल (BSF) ने संयुक्त बचाव अभियान शुरू किया. कच्छ पश्चिम के पुलिस अधीक्षक विकास सुंडा ने बताया कि BSF और स्थानीय पुलिस ने कर्मचारियों की आखिरी संपर्क लोकेशन के आधार पर उनकी खोज शुरू की.
ड्रोन कैमरा और सेना की मदद
हरामी नाला क्षेत्र दुर्गम और कठिन भौगोलिक स्थितियों वाला इलाका है, इसलिए ड्रोन कैमरे की मदद से कर्मचारियों की सही स्थिति का पता लगाया गया. जब बचाव दल ने देखा कि तीनों कर्मचारी ड्रेजिंग मशीन के ऊपर खड़े थे, जो लगभग पानी में डूब चुकी थी, तो तुरंत सेना और वायुसेना को भी सतर्क किया गया.
BSF ने नाव से किया रेस्क्यू
हालात की गंभीरता को देखते हुए भारतीय वायुसेना (IAF) के हेलीकॉप्टर को भी तैयार रखा गया था. लेकिन इससे पहले ही BSF की टीम ने नाव से वहां पहुंचकर तीनों कर्मचारियों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया. तीनों कर्मचारियों को लगभग 16 घंटे तक फंसे रहने के बाद सुरक्षित बचा लिया गया. प्रशासन ने इस रेस्क्यू ऑपरेशन को कठिन परिस्थितियों में किया गया सफल बचाव अभियान बताया है.