हरियाणा में एक के बाद एक बलात्कार के मामले सामने आने से खाप पंचायत नाराज है. इसी नाराजगी के बीच खाप ने कहा कि विवाह की तय उम्र सीमा खत्म कर देनी चाहिए जिससे बच्चों की सही समय पर शादी हो जाए और वो भटके नहीं.
वहीं सत्तारूढ़ कांग्रेस का कहना है कि बलात्कार की यह घटनाएं साजिश हैं. किशोर लड़कियों को निशाना बनाए जाने को लेकर चिंतित राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) ने प्रत्येक मामले में राज्य सरकार से स्पष्टीकरण मांगने की प्रक्रिया तेज कर दी. इसमें अपराधियों के खिलाफ कार्रवाई भी शामिल है.
खाप पंचायत के एक प्रतिनिधि सूबे सिंह ने कहा, 'लड़के और लड़कियों की शादी उनके 16 साल के होने तक कर देनी चाहिए ताकि वे भटके नहीं. इससे बलात्कार की घटनाओं में कमी आएगी।' एक दूसरे खाप सदस्य ने कहा, 'बच्चे जैसे जवान होते हैं उनमें यौन इच्छाओं का विकास होना स्वाभाविक है जब यह पूरी नहीं होती तो वह भटक जाते हैं. इसलिए शादी की कोई न्यूनतम उम्र नहीं होनी चाहिए.'
जींद जिले के नरवाना इलाके में एक किशोर दलित लड़की ने बलात्कार के बाद आग लगाकर आत्महत्या कर ली थी. पिछले एक महीने में राज्य में बलात्कार की 12 घटनाएं सामने आ चुकी हैं. वहीं राज्य में कानून व्यवस्था की समस्या के सवाल को खारिज करते हुए कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष फूलचंद मुलाना ने कहा कि यह सरकार को बदनाम करने की साजिश है. पहले भी इस तरह की घटनाएं होती आयी हैं और किसी भी आरोपी को बख्शा नहीं गया है. सभी दोषियों को गिरफ्तार किया गया है.