हरियाणा सरकार ने इमरजेंसी पीड़ितों के इलाज पर 5 लाख रुपये खर्च करने का फैसला किया है. सरकार के जरिए अस्पताल के खर्च पर यह राशि खर्च की जाएगी.
हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने ऐलान किया है कि उनकी सरकार लोकतंत्र सेनानी और उनके जीवनसाथी पर इलाज के खर्च में मदद करेगी. सरकार के जरिए प्राइवेट या सरकारी अस्पताल में इलाज करवाने पर 5 लाख रुपये की सहायता राशि देने की घोषणा की है. वहीं 'इमरजेंसी पीड़ितों' का पहचान पत्र बदलकर अब 'लोकतंत्र सेनानी' कर दिया जाएगा.
Haryana CM, ML Khattar, has announced to bear expenses of up to Rs 5 lakh annually on the treatment of Loktantra Senani or his spouse in private or govt hospitals. The term ‘Emergency Victim’ on their identity cards will be replaced with the term 'Loktantra Senani'. (file pic) pic.twitter.com/1BJJc6ozob
— ANI (@ANI) June 26, 2019
सरकार के जरिए दी जाने वाली इस राशि से इमरजेंसी पीड़ितों को काफी मदद मिलने की बात कही जा रही है. बता दें कि 44 साल पहले देश में आपातकाल यानी इमरजेंसी लगा दी गई थी. इसे भारत के लोकतांत्रिक इतिहास का काला अध्याय भी कहा जाता है. 25 जून 1975 की आधी रात को आपातकाल की घोषणा की गई थी जो 21 मार्च 1977 तक लगी रही.
तत्कालीन राष्ट्रपति फखरुद्दीन अली अहमद ने तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के नेतृत्व वाली सरकार की सिफारिश पर भारतीय संविधान की धारा 352 के अधीन देश में आपातकाल की घोषणा की थी. 26 जून को रेडियो से इंदिरा गांधी ने इसे दोहराया.