हरियाणा कांग्रेस में इन दिनों उठापटक मची हुई है. इस बीच पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने रोहतक में एक जनसभा को संबोधित किया. जनसभा में उन्होंने कांग्रेस में प्रदेश अध्यक्ष को लेकर उठापटक पर अपनी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने कहा कि मुझे नहीं पता कि किसने इस्तीफा दिया है. यह तो मीडिया की खबर है. प्रदेश अध्यक्ष के लिए चल रहे चार नामों की चर्चा के सवाल से भी वह बचते नजर आए और कहा कि बंसल जी से फोन पर नाम पूछ सकते हैं. वहीं उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला के कांग्रेस का खात्मे के बयान पर भी तंज कसते हुए कहा कि दुष्यंत चौटाला अपने आपको संभाल लें.
भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने सीएम खट्टर के गेहूं पर बोनस नहीं देने के बयान पर पर कहा कि आज किसानों को खेती में लागत ज्यादा लग रही है. बारिश और जलभराव के कारण इस बार फसल की पैदावार कम हुई है. पांच से दस क्विंटल तक कम उपज हुई है. इसलिए हम बोनस की मांग कर रहे हैं. जब तक स्वामीनाथन की रिपोर्ट लागू नहीं होता, किसानों के घाटे को पूरा नहीं किया जा सकता. अभी किसान को एमएसपी से ज्यादा दाम मिल रहे हो, लेकिन यह स्थाई समाधान नहीं है. यह दाम रूस और यूक्रेन के युद्ध के कारण मिल रहा है. जब इनमें समझौता हो जाएगा तो किसान को फिर मार पड़ेगी.
हुड्डा ने कहा कि सरकार को स्थाई समाधान निकालना चाहिए, जबकि अभी इंटरनेशनल मार्केट में गेहूं के दाम तीन हजार रुपये प्रति क्विंटल है. देश में महंगाई और बेरोजगारी में नंबर वन प्रदेश बन गया है. बिजली और पानी की किल्लत कांग्रेस के दस साल के शासन में नहीं हुई. हमारी सरकार ने प्रदेश में चार थर्मल प्लांट लगाए. अगर सरकार उनकी क्षमता के अनुसार चलाए, तो बिजली सरप्लस हो सकती है.
इनपुट-(सुरेंद्र सिंह)