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हिमाचल में बढ़ीं अडानी ग्रुप की मुश्किलें, गोदाम पर छापेमारी, टीम ने देर रात तक खंगाले दस्तावेज

हिमाचल प्रदेश में अडानी ग्रुप के व्यापारिक प्रतिष्ठानों पर छापेमारी की गई है. इस दौरान सरकारी एजेंसी को गड़बड़ी मिली. टीम ने देर रात तक दस्तावेज खंगाले. यह कार्रवाई राज्य के एक्साइज एंड टैक्सेशन डिपार्टमेंट ने की. टीम ने व्यापारिक प्रतिष्ठानों की जांच में पाया कि बीते साल कंपनी ने 135 करोड़ का कारोबार किया. इस दौरान जांच में कई बातें सामने आईं.

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हिमाचल में अडानी ग्रुप के ठिकानों पर छापेमारी.
हिमाचल में अडानी ग्रुप के ठिकानों पर छापेमारी.

हिमाचल प्रदेश के सोलन जिले के परवाणू में राज्य के एक्साइज एंड टैक्सेशन डिपार्टमेंट ने अडानी के व्यापारिक प्रतिष्ठानों पर छापेमारी की. एक्साइज डिपार्टमेंट के साउथ एन्फोर्समेंट जोन की यह कार्रवाई किराना स्टोर पर देर रात तक चलती रही. टीम ने अडानी विल्मर लिमिटेड में स्टॉक का जायजा लिया और व्यापार से संबंधित कागजात खंगाले. कंपनी यहां किराना का बिजनेस कर रही है. 

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जानकारी के अनुसार, सोलन के परवाणू में अडानी ग्रुप के व्यापारिक प्रतिष्ठान हैं. यहां किराने का बिजनेस होता है. इसके तहत प्रदेश के सिविल सप्लाई और हिमाचल पुलिस को करोड़ों रुपये की सेल की जाती है. राज्य के एक्साइज एंड टैक्सेशन डिपार्टमेंट की टीम ने अडानी ग्रुप के इन्हीं प्रतिष्ठानों पर छापा मारा. यह कार्रवाई देर रात तक चलती रही.

हिमाचल में बढ़ीं अडानी ग्रुप की मुश्किलें, गोदाम पर छापेमारी में मिली गड़बड़ी

एक्साइज डिपार्टमेंट की टीम ने अडानी विल्मर लिमिटेड के स्टॉक का जायजा लिया और व्यापार से संबंधित कागजात खंगाले. इस दौरान जांच में पाया गया कि पिछले वर्ष परवाणू स्थित इस कंपनी में 135 करोड़ का कारोबार हुआ है. इसमें जीएसटी का सारा टैक्स, इनपुट टैक्स क्रेडिट से एडजस्ट किया गया, जबकि कंपनी को टैक्स देते हुए करीब 10 से 15 फीसदी देय राशि का नकद भुगतान करना पड़ता है, जो इस कंपनी में शून्य पाया गया है.

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ठीक नहीं चल रहे राज्य सरकार और अडानी ग्रुप के रिश्ते

बता दें कि हिमाचल में सत्ता परिवर्तन के बाद कांग्रेस सरकार और अडानी ग्रुप के रिश्ते अच्छे नहीं चल रहे हैं. अडानी ग्रुप ने ट्रक ऑपरेटरों के साथ माल ढुलाई भाड़े को लेकर चल रहे विवाद में लगभग दो महीने से हिमाचल में अपने दोनों सीमेंट प्लांट में प्रोडक्शन बंद कर रखा है. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू कह चुके हैं कि अडानी ग्रुप के अड़ियल रवैये के चलते इस विवाद का हल नहीं निकल पा रहा है.

छापेमारी को लेकर क्या बोले कराधान विभाग के संयुक्त निदेशक?

आबकारी एवं कराधान विभाग के संयुक्त निदेशक जीडी ठाकुर ने बताया कि जांच में पाया गया कि अडानी विल्मर लिमिटेड ने हिमाचल प्रदेश में बीते तीन साल में 110, 106 और 138 करोड़ का कारोबार किया. कंपनी ने जीएसटी का सारा टैक्स इनपुट टैक्स क्रेडिट से एडजस्ट किया है, जबकि टैक्स लाइबिलिटी में कुछ कैश पेमेंट देना पड़ता है, मगर अडानी ने इसे जीरो दर्शाया है. इसी पॉइंट पर विभाग अपनी जांच को आगे बढ़ा रहा है.

मुख्यमंत्री सुखविंदर सुक्खू बोले- ये रुटीन कार्रवाई है

इस मामले में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि सरकार का मकसद किसी को तंग करना नहीं है. ये रुटीन रेड है, जो चलती रहती है. टैक्स के संदर्भ में ये रेड हुई है. अडानी का सीमेंट प्लांट हिमाचल में है, उनका ट्रक ऑपरेटर्स के साथ विवाद चल रहा है. हमने चाहा है कि ट्रक ऑपरेटर और अडानी आपस में बैठकर मामले को सुलझायें, इस मामले को किसी भी प्रकार से उछालना ठीक नहीं है.

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अडानी विल्मर ने जारी किया बयान 

हिमाचल प्रदेश में अडानी विल्मर के डिपो गोदाम का दौरा करने वाले जीएसटी अधिकारियों पर अडानी विल्मर की ओर से बयान जारी किया गया है. कंपनी की ओर कहा गया है कि ये कोई छापा नहीं था बल्कि एक नियमित परीक्षण था.  

बयान के मुताबिक, “हिमाचल प्रदेश के परवाणू में अडानी विल्मर के डिपो गोदाम में बुधवार शाम जीएसटी अधिकारियों ने दौरा किया था. कर्मचारियों ने इस नियमित निरीक्षण के दौरान अधिकारियों और स्थानीय अधिकारियों के साथ पूर्ण सहयोग करते हुए अपना समर्थन दिया."
अधिकारियों को कंपनी द्वारा किए गए संचालन और व्यवहार में कोई अनियमितता नहीं मिली. हम स्पष्ट करना चाहते हैं कि नियम 86बी के तहत जीएसटी कानून का हवाला देते हुए नकदी में जीएसटी भुगतान के लिए विशिष्ट चिंताएं, कंपनी को नकद में कर देयता का भुगतान करने की आवश्यकता नहीं है.  

हम इस बात पर जोर देना चाहेंगे कि यह संबंधित अधिकारियों द्वारा किया गया एक नियमित निरीक्षण था. ये कोई छापा नहीं था, जैसा कि मीडिया में पहले कहा गया था. हम एक जिम्मेदार और पारदर्शी तरीके से व्यवसाय करने के लिए प्रतिबद्ध हैं, और हमारे सभी संचालन प्रासंगिक कानूनों और विनियमों के पूर्ण अनुपालन में हैं. हम यह उल्लेख करना चाहेंगे कि दौरे के बाद डिपो का संचालन सामान्य रूप से काम कर रहा है.
 

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