जम्मू-कश्मीर दौरे पर केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने सूबे के हालात को दुरुस्त करने और लोगों की समस्याओं को दूर करने के लिए कई बड़े ऐलान किए हैं.
राजनाथ सिंह ने पश्चिम पाकिस्तान से आकर जम्मू-कश्मीर में बसने वाले प्रत्येक शरणार्थी परिवार को साढ़े पांच लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने का ऐलान किया.इसका लाभ 5,764 शरणार्थियों को मिलेगा.
उन्होंने कहा कि इन नौ बटालियनों में से दो सीमावर्ती क्षेत्रों में स्थापित की जाएंगी. इनका नाम भी बॉर्डर बटालियन होगा. इसके अलावा दो महिला बटालियन जम्मू और कश्मीर मंडलों में स्थापित की जाएंगी और पांच ऐसी ‘इंडियन रिजर्व बटालियन’ स्थापित की जाएंगी, जिनमें 60 प्रतिशत सीट सीमावर्ती क्षेत्रों में रहने वाले लोगों के लिए आरक्षित होंगी.
केंद्रीय गृहमंत्री सिंह ने कहा कि पहले सीमा पर गोलीबारी में किसी तरह की कैजुअल्टी होने पर 75 हजार या एक लाख रुपये मुआवजा देने की व्यवस्था थी, जिसको अब बढ़ाकर पांच लाख रुपये कर दिया गया है. साथ ही इसको प्राप्त करने की अवधि को भी समाप्त कर दिया गया है.
उन्होंने कहा कि पहले गोलीबारी या किसी घटना में जानवरों के मरने पर 30 हजार प्रति पशु मुआवजा मिलता था, लेकिन अब इसको बढ़ाकर 50 हजार रुपये कर दिया गया है. इसके साथ ही मुआवजा देने के लिए तीन जानवरों की सीमा को भी खत्म कर दिया गया है. दरअसल, पहले चाहे जितने भी जानवर मरें, लेकिन मुआवजा अधिकतम तीन जानवरों का ही दिया जाता था.
उन्होंने सीमावर्ती इलाकों के लिए पांच बुलेट प्रूफ एंबुलेंस मुहैया कराने का भी ऐलान किया. केंद्रीय गृहमंत्री ने कहा कि 450 करोड़ रुपये की लागत से 14,460 बंकर बनाए जाएंगे. इनमें से 1,431 सामुदायिक बंकर और 13,029 बंकर इंडिविजुअल होंगे.
राजनाथ ने एक अन्य घोषणा में कहा कि कश्मीरी विस्थापितों को दी जाने वाली नकदी सहायता 30 प्रतिशत तक बढ़ा दी गई है और अब प्रत्येक परिवार को वर्तमान 10 हजार रुपये के बदले 13 हजार रुपये मिलेंगे. उन्होंने कहा कि उनके दिल्ली लौटने के बाद इस संबंध में शीघ्र आदेश जारी किया जाएगा.