जम्मू कश्मीर के पुलवामा में आतंकवादियों ने 14 फरवरी 2019 को केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के काफिले पर हमला किया था, जिसमें 40 जवान शहीद हो गए थे. पुलवामा पर हमले की पहली वरसी करीब है, लेकिन इसकी जांच कर रही राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) इस हमले के पाकिस्तान कनेक्शन की तलाश ही कर रही है. एनआईए पाकिस्तान कनेक्शन की तलाश में हाथ पैर मार रही है.
सूत्रों की मानें तो जम्मू कश्मीर में हुए सबसे घातक आतंकी हमले के 11 महीने बाद भी चार्जशीट दायर करने की एजेंसी की कोई योजना नहीं है. एनआईए के एक अधिकारी ने बताया कि इस हमले के सभी आरोपी मारे जा चुके हैं. हमें आतंकी के जैश-ए-मोहम्मद, पाकिस्तान से लाइव लिंक की जरूरत है. इस दिशा में एक बड़ी उपलब्धि की बात करते हुए अधिकारी ने बताया कि आत्मघाती हमले को अंजाम देने वाले हमलावर आदिल अहमद डार का परिजनों से डीएनए मैच हो गया है.
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सूत्रों ने बताया कि ब्लास्ट में वाहनों के परखच्चे उड़ गए थे. शव भी चिथड़े-चिथड़े बिखरे पड़े थे. उन्हें किसी तरह बड़ी मुश्किल से एकत्रित किया गया था. संकट था उसमें किसी की पहचान करना. गौरतलब है कि पिछले दिनों एनआईए ने डार के माता-पिता का डीएनए सैंपल कलेक्ट किया था. इसे कई एजेंसियों को जांच के लिए भेजा गया था. दिसंबर में आई रिपोर्ट से यह साफ हो गया कि आत्मघाती हमलावर डार ही था.
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पिछले सप्ताह कश्मीर के अवंतीपुरा में हुई मुठभेड़ के दौरान मारे गए जैश-ए-मोहम्मद के कश्मीर प्रमुख कारी यासिर को लेकर एनआईए अधिकारियों ने कहा कि वह पाकिस्तान का नागरिक था. एनआईए सूत्रों के अनुसार कारी आईईडी एक्सपर्ट था. आतंकियों की भर्ती के साथ ही पाकिस्तान से आने वाले आतंकियों को रिलोकेट करने में भी उसकी भूमिका अहम थी.