जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूख अब्दुल्ला ने प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने वाले अनुच्छेद-370 पर हो रही राजनीति को हवा दे दी है. फारूख ने मोदी और बीजेपी के बयानों पर जवाब देते हुए कहा है कि नरेंद्र मोदी 10 बार भी देश के प्रधानमंत्री बन जाएं तो भी वह 370 नहीं हटा पाएंगे.
इससे पूर्व रविवार को जम्मू रैली के दौरान नरेंद्र मोदी ने कहा था कि जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद-370 से राज्य को फायदा हुआ या नहीं इस पर चर्चा होनी चाहिए. बीजेपी अध्यक्ष राजनाथ सिंह भी कह चुके हैं कि अगर अनुच्छेद-370 लाभदायक साबित हुआ तब उनकी पार्टी इसका समर्थन करेगी. मोदी की टिप्पणी को 370 को रद्द करने पर बीजेपी के रुख में नरमी के तौर पर देखा जा रहा है. वहीं, मामले को लेकर फारूख अब्दुल्ला ने कहा, 'मोदी अपनी मर्जी से बोलते हैं. बीजेपी ने अब तक इस संबंध में कोई चर्चा नहीं की है. वह जिन चर्चाओं की बात कर रहे हैं वह सिर्फ लोगों को बेवकूफ बनाने के लिए कहा जा रहा है.'
मोदी पहले पार्टी और संघ में चर्चा कर लें: दिग्विजय
सोमवार को दिनभर विभिन्न दलों और विचारों से जुड़े लोगों ने 370 के मुद्दे पर बयानबाजी की. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने कहा, 'मैं मोदी को गंभीरता से नहीं लेता. उन्हें पहले अपनी पार्टी और संघ से इस बारे में चर्चा कर लेनी चाहिए. अनुच्छेद पर हमारा मत स्प्ष्ट है कि इस पर कोई भी कानून संसद में ही बन सकता है.' दिग्विजय सिंह ने आगे कहा, 'हमें उम्मीद है कि हम जल्द ही इस मामले को सुलझा लेंगे. इस पर कैबिनेट में चर्चा की जाएगी. तेलंगाना मामला भी लगभग समाप्ति पर है.'
भाजपा अनुच्छेद 370 पर पलट रही है: तिवारी
सूचना एवं प्रसारण मंत्री मनीष तिवारी ने बीजेपी पर अपने रूख से पलटने का आरोप लगाते हुए कहा कि विपक्षी पार्टी ने 2004 के लोकसभा चुनाव के लिए जारी किए दृष्टिपत्र में अनुच्छेद 370 को खत्म करने का कोई जिक्र नहीं किया था. इसमें इसके अस्तित्व को मान्यता दी गई थी. वहीं, 2013 में वे दोहरा मानदंड अपनाना चाहते हैं. उन्होंने ट्विटर पर लिखा है कि क्या 370 पर पलट जाना वाजपेयी जी और आडवाणी जी की विरासत में ताबूत की आखिरी कील है? वेंकैया जी, जिन्होंने दृष्टिपत्र पर हस्ताक्षर किया था उन्हें इस यूटर्न पर स्पष्टीकरण देना चाहिए.
देश में दो संविधान नहीं हो सकते: विहिप
मोदी द्वारा बीजेपी के रुख को नरम करने के प्रयासों को परोक्ष रूप से अस्वीकार करते हुए विहिप ने जोर दिया कि एक देश में दो संविधान नहीं हो सकते. विहिप के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष प्रवीण तोगड़िया ने कहा कि अनुच्छेद 370 जम्मू कश्मीर राज्य को अपना अलग संविधान रखने की अनुमति देता है. यह भारत के अंदर एक अलग देश होने की धारणा के समान है. इसे किसी भी कीमत पर स्वीकार नहीं किया जा सकता और इस अनुच्छेद को हटाया जाना चाहिए.
370 पर रूबरू हो बहस करें मोदी: सोज
अनुच्छेद 370 को 'संविधान का अभिन्न' अंग बताते हुए जम्मू-कश्मीर कांग्रेस के अध्यक्ष सैफुद्दीन सोज ने आज कहा कि इसमें संशोधन नहीं हो सकता. उन्होंने नरेन्द्र मोदी को इस मुद्दे पर उनसे रूबरू होकर बहस करने की भी चुनौती दी है.
पनून कश्मीर ने किया मोदी का समर्थन किया
दूसरी ओर, विस्थापित कश्मीरी पंडितों के संगठन पनून कश्मीर ने अनुच्छेद 370 पर बहस कराने के नरेन्द्र मोदी के सुझाव का समर्थन किया है. पनून कश्मीर के अध्यक्ष अश्वनी चरूंगू ने सोमवार को कहा, 'हमारे संगठन के राजनीतिक मामलों की समिति ने अनुच्छेद 370 पर बहस को लेकर मोदी के बयान का स्वागत किया है. हम इसकी कड़ी वकालत करते हैं.' चरूंगू ने कहा कि यह स्पष्ट करने की जरूरत है कि अनुच्छेद 370 भारत के संविधान में अस्थाई प्रावधान है जिसे कभी भी स्थाई कानून नहीं बनाया जाना था.