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उरी से लापता युवक-युवती के पार्थिव शरीर PoK से वापस लाए गए, भारतीय सेना ने निभाई अहम भूमिका

20 मार्च 2025 को भारतीय सेना को झेलम नदी में एक युवक का शव बहता हुआ मिला. इसे निकालने के लिए गहरे पानी में गोताखोरों की टीम भेजी गई, लेकिन तेज़ बहाव के कारण शव नियंत्रण रेखा (LoC) पार कर पाकिस्तान के कब्जे वाले जम्मू-कश्मीर (POJK) के चकोटी सेक्टर में चला गया.

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PoK से युवक-युवती के पार्थिव शरीर को वापस लाया गया
PoK से युवक-युवती के पार्थिव शरीर को वापस लाया गया

भारतीय सेना ने जम्मू-कश्मीर के बारामूला जिले की उरी तहसील के दो लापता युवाओं के पार्थिव शरीर को पाकिस्तान के कब्जे वाले जम्मू-कश्मीर (POJK) से वापस लाने में अहम भूमिका निभाई. 5 मार्च 2025 को बसग्रान और कमलकोट गांवों के एक युवक और युवती की झेलम नदी में डूबने से मौत हो गई थी. घटना के बाद भारतीय सेना ने तुरंत एक बड़े पैमाने पर तलाशी अभियान शुरू किया, लेकिन कई प्रयासों के बावजूद शवों को खोजा नहीं जा सका.

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झेलम नदी में मिला शव, लेकिन बहकर पहुंचा पीओजेके

20 मार्च 2025 को भारतीय सेना को झेलम नदी में एक युवक का शव बहता हुआ मिला. इसे निकालने के लिए गहरे पानी में गोताखोरों की टीम भेजी गई, लेकिन तेज़ बहाव के कारण शव नियंत्रण रेखा (LoC) पार कर पाकिस्तान के कब्जे वाले जम्मू-कश्मीर (POJK) के चकोटी सेक्टर में चला गया.

भारतीय और पाकिस्तानी सेना के बीच समन्वय से शवों की वापसी

इस मानवीय संकट को देखते हुए भारतीय और पाकिस्तानी सेना ने आपसी समन्वय के तहत शव को बरामद करने का प्रयास किया. 22 मार्च 2025 को भारतीय समयानुसार दोपहर 12:00 बजे, पाकिस्तानी अधिकारियों ने दोनों शवों को उरी सेक्टर में स्थित कमान अमन सेतु पर भारतीय सेना को औपचारिक रूप से सौंप दिया.

शवों को परिवारों को सौंपा

शवों को वापस लाने के बाद भारतीय सेना ने उन्हें परिजनों को सौंप दिया, ताकि वे अंतिम संस्कार की प्रक्रिया पूरी कर सकें. शोकाकुल परिवारों ने भारतीय सेना के प्रति गहरी कृतज्ञता प्रकट की, जिन्होंने मानवीय मूल्यों को सर्वोपरि रखते हुए इस मुश्किल समय में उनका साथ दिया. इस घटना ने दिखाया कि संवेदनशील मामलों में मानवीय सहयोग कितना महत्वपूर्ण होता है.

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