लालू प्रसाद यादव से गले मिलने के चलते सोशल मीडिया में आलोचना झेल रहे दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने सफाई दी है. दिल्ली में आम आदमी पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक में केजरीवाल ने कहा कि लालू ने उनका हाथ पकड़कर खींच लिया और गले लगा लिया.
केजरीवाल ने कहा , 'नीतीश जी ने अच्छा काम किया था, जिसके चलते जनता ने उन्हें फिर चुना. हमने बीजेपी के खिलाफ काम किया और नीतीश का समर्थन किया. शपथ ग्रहण समारोह में लालू जी मिले को उन्होंने मेरा हाथ पकड़ा और खींचकर गले लगा लिया, फिर जनता की ओर रुख करके हाथ ऊपर उठा दिया. मुझे प्रोजेक्ट किया जा रहा है. जो कि बिल्कुल गलत है.'
'बाकी नेताओं पर कोई सवाल क्यों नहीं'
दिल्ली के सीएम ने कहा कि हमने किसी भी तरह का गठबंधन नहीं किया है. हम भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ रहे हैं और हमेशा लड़ेंगे. हम वंशवाद की राजनीति के खिलाफ हैं. उन्होंने कहा- 'लालू प्रसाद के दो बेटे मंत्री बने हैं हम इसका भी विरोध करते हैं. लोग सवाल पूछ रहे हैं, मुझे इस बात की खुशी है. लेकिन सवाल इसलिए पूछे जा रहे हैं क्योंकि हम बदलाव की राजनीति कर रहे हैं और अलग तरह सोचते हैं.' उन्होंने कहा कि जब दूसरे नेता लालू प्रसाद से गले मिलते हैं तो कोई सवाल क्यों नहीं उठाता.
'डेडलाइन से पूरा हुआ काम तो बचे 100 करोड़'
राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक को संबोधित करते हुए केजरीवाल ने कहा कि चार पहले उनमें से किसी ने भी नहीं सोचा था कि वे कभी चुनाव लड़ेंगे. लेकिन यह किसी चमत्कार से कम नहीं है. शुरुआत में हमारे दो लक्ष्य थे- भ्रष्टाचार मिटाने के लिए जनलोकपाल और स्वराज . इसका सबसे बेहतर उदाहरण है कि किसी सरकार ने भ्रष्टाचार के आरोप में अपने मंत्री को बर्खास्त नहीं किया. लेकिन हमने किया है. हम डेडलाइन से हर काम कर रहे हैं और इसका नतीजा ये रहा कि हमारी सरकार ने करीब 100 करोड़ रुपये मेट्रो प्रोजेक्ट का काम समय पर निपटा कर बचाए.
उन्होंने कहा कि इसी सत्र में लोकपाल पास हो जाएगा. बिल के साथ सिटीजन चार्टर भी पेश किया जा रहा है, ऐसे में बीजेपी और कांग्रेस के पास विरोध का कोई आधार बचता नहीं है, वह बिना वजह शोर कर रहे हैं. केजरीवाल ने कहा, 'हम स्वराज की विचारधारा को लेकर आगे बढ़ रहे हैं. हम पावर पॉलिटिक्स करने नहीं आए हैं. लोग हमसे 2019 के बारे में सवाल करते हैं, लेकिन हम किसी रेस में नहीं हैं. दिल्ली की जीत करिश्मा है और हमें ईमानदारी से कड़ी मेहनत जारी रखना है. संकेत मिल रहे हैं कि ऐसा ही नतीजा पंजाब में देखने को मिलेगा.'
बैठक के बाहर हंगामा
उधर केजरीवाल अपनी सरकार और सुशासन का गुणगान कर रहे थे तो बाहर कुछ उनके खिलाफ नारेबाजी करते दिखे. स्वराज अभियान से जुड़े आम आदमी पार्टी से नाराज सदस्यों ने आरोप लगाया कि उन्हें बैठक में शामिल होने से रोका गया है. जबकि राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक में हिस्सा ले रहे सदस्यों का कहना है कि प्रदर्शनकारियों को बैठक में बुलाया ही नहीं गया.