झारखंड के दुमका नगर थाना क्षेत्र में 23 अगस्त 2022 को हुए पेट्रोल हत्याकांड के मामले में कोर्ट ने आरोपियों को आजीवन कारावास और 25 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है. एडीजे वन कम स्पेशल जज पॉक्सो रमेश चंद्र ने आरोपी शाहरुख हुसैन और नईम अंसारी उर्फ छोटू को आईपीसी और पॉक्सो के तहत दोषी ठहराते हुए यह सजा सुनाई है.
दुमका थाना क्षेत्र के जरुवाडीह में सिरफिरे शाहरुख हुसैन ने अपने साथी नईम अंसारी के साथ मिलकर अंकिता के ऊपर पेट्रोल डालकर आग लगा दी थी. वारदात के दौरान अंकिता खिड़की के पास सो रही थी. इस हादसे में पीड़िता 90 फीसदी तक जल गई थी. इलाज के दौरान 27 अगस्त 2022 को रांची के रिम्स अस्पताल में उसकी मौत हो गई.
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अंकित 17 साल की नाबालिक युवती थी. पुलिस ने इस मामले में हत्या और पॉक्सो के तहत आरोपी शाहरुख हुसैन और नईम अंसारी के विरुद्ध केस दर्ज किया था. इसके बाद चले ट्रायल में दोनों को कोर्ट ने हत्या और पोक्सो के तहत दोषी पाया.
कोर्ट ने सुने 51 गवाहों के बयान
लोक अभियोजक चंपा कुमारी ने बताया कि एडीजे वन कम स्पेशल जज रमेश चंद्रा ने 51 गवाहों और दस्तावेजों को मद्देनजर रखते हुए आरोपियों को मामले के तहत दोषी करार दिया. शाहरुख हुसैन और नईम अंसारी उर्फ छोटू को आईपीसी की धारा 302 के आजीवन कारावास और 25,000 रुपये का जुर्माना लगाया गया है.
जुर्माना नहीं देने पर एक साल की अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी. हत्या का षड्यंत्र रचने के लिए आईपीसी की धारा 120B के तहत आजीवन कारावास और 25,000 रुपए का अतिरिक्त जुर्माना लगाया गया. जुर्माना नहीं देने पर एक साल की अतिरिक्त सजा भुगतान पड़ेगी.
जज ने शाहरुख हुसैन को पीड़िता को धमकाने का भी दोषी पाया और आईपीसी की धारा 506 के तहत 2 साल की सजा सुनाई. पॉक्सो एक्ट के तहत शाहरुख हुसैन को 2 साल की सजा और 5,000 रुपये का जुर्माना लगाया गया. जुर्माना अदा नहीं करने पर 3 महीने के अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी. चंपा ने बताया कि आरोपियों से वसूली गई जुर्माने की राशि में से एक लाख पांच हजार रुपये पीड़ित परिवार को दिए जाएंगे.