साल 2014 में झारखंड में 514 छात्रों को कथित नक्सली बताकर फेक तरीके से सरेंडर कराने के मामले में रांची हाईकोर्ट ने राज्य के गृह सचिव को नोटिस जारी किया है. साथ ही कोर्ट ने गृह सचिव को अगली सुनवाई में हाजिर होने को कहा है.
इस मामले की अगली सुनवाई 6 सितंबर को होगी. हाईकोर्ट ने कैमरा प्रोसीडिंग करने का भी आदेश दिया है. सुनवाई के दौरान सिर्फ हाईकोर्ट के जस्टिस और गृह सचिव मौजूद रहेंगे. .
सरकार के रवैये से कोर्ट असंतुष्ट
मामले की सुनवाई कर रहे जस्टिस अपरेश कुमार सिंह और जस्टिस रत्नाकर भेंगरा की बेंच ने राज्य सरकार के रवैये पर असंतुष्टि जाहिर की थी. कोर्ट ने सरकार के गृह सचिव को 7 अगस्त तक जवाब दाखिल करने का आदेश दिया था. साथ ही यह भी कहा था कि अगर 7 अगस्त तक सरकार जवाब दाखिल नहीं करती है, तो गृह सचिव को कोर्ट में हाजिर होना होगा. बता दें कि इससे पहले झारखंड हाईकोर्ट में फेक नक्सली सरेंडर मामले पर 12 जुलाई को सुनवाई हुई थी.
झारखंड के बहुचर्चित फेक नक्सली सरेंडर मामले की फाइल पुलिस विभाग ने बंद कर दी है. आरोप है कि रांची के दिग्दर्शन इंस्टीट्यूट के जरिये साल 2014 मे 514 छात्रों को नक्सली बताकर फर्जी तरीके से सरेंडर कराया गया था. इस मामले में पुलिस और प्रशासन के अधिकारियों के शामिल होने की बात भी सामने आई थी.शुरुआती जांच में ये पाया गया था कि इनमें से सिर्फ 10 युवकों का ही नक्सली गतिविधियों से संबंध है. बाकी युवाओं को नौकरी की लालच देकर खुद को नक्सली बताने को कहा गया था.