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Ranchi: पटाखे का GST बिल मांगने पर कर्नल और उनके बेटे की बेरहमी से पिटाई

झारखंड की राजधानी रांची में कर्नल एमके सिंह अपने बेटे ईशान सिंह के साथ कांके रोड स्थित पटाखे की दुकान ट्रेड फ्रेंड्स से पटाखा खरीदने गए थे. उन्होंने दुकानदार विमल सिंघानिया से जीएसटी बिल की डिमांड की. कर्नल एमके सिंह का इल्जाम है कि दुकानदार विमल सिंघानिया के इशारे पर बिना कुछ जाने-सुने 15-20 लोगों ने कर्नल और उसके बेटे पर कातिलाना हमला कर दिया.

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घटना के बाद मौके पर पहुंची पुलिस
घटना के बाद मौके पर पहुंची पुलिस

रांची में दीपावली की छुट्टी में घर आये कर्नल एमके सिंह और उनके बेटे को सिर्फ इसलिए मारा-पीटा गया क्योंकि दोनों ने कांके रोड में स्थित पटाखे के दुकान ट्रेड फ्रेंड्स से खरीददारी के बाद जीएसटी बिल की मांग की थी. कर्नल का आरोप है कि लाठी-डंडे और रॉड से उनके बदन और सिर पर हमला किया गया. कर्नल के बेटे का चश्मा भी तोड़ दिया गया.

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कर्नल एमके सिंह का इल्जाम है कि उन्हें और उनके बेटे ईशान सिंह के साथ मॉब लिंचिंग की कोशिश की गई, उनके कान में गंभीर चोटें लगी हैं, उन्हें अब सुनाई भी कम दे रहा है, किसी तरह दोनों अपनी जान बचा सके. कर्नल का कसूर सिर्फ इतना था कि उन्होंने पटाखा बेचने वाले दुकान ट्रेड फ्रेंड्स से GST बिल की डिमांड कर दी थी.

क्या है पूरा मामला

कर्नल एमके सिंह अपने बेटे ईशान सिंह के साथ कांके रोड स्थित पटाखे की दुकान ट्रेड फ्रेंड्स से पटाखा खरीदने गए थे. उन्होंने दुकानदार विमल सिंघानिया से जीएसटी बिल की डिमांड की. कर्नल एमके सिंह का इल्जाम है कि दुकानदार विमल सिंघानिया के इशारे पर बिना कुछ जाने-सुने 15-20 लोगों ने कर्नल और उसके बेटे पर कातिलाना हमला कर दिया.

ट्रेड फ्रेंड्स की दुकान और कर्नल एमके सिंह का मकान अगल-बगल ही स्थित है. फिलहाल कर्नल के बेटे ईशान सिंह के बयान पर रांची के गोंदा थाने में केस दर्ज कर लिया गया है. पुलिस ने बुधवार को दुकान के बाहर लगे सीसीटीवी फुटेज को खंगाला है. इसके बाद दुकानदार और उसके भाई के ऊपर केस दर्ज कर लिया है. 

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कर्नल एमके सिंह ने कहा कि यह बहुत दुखद बात है कि GST बिल मांगे जाने पर मॉब लिंचिंग का प्रयास हुआ. कर्नल का कहना है कि दुकानदार के भाई कमल सिंघानिया ने पहले माफी मांगी, केस नहीं उठाने की बात कहने पर अपने ही दुकान के एक स्टाफ राजेंद्र मुंडा से मुझ पर और मेरे बेटे पर एसटी-एससी का झूठा केस गोंदा थाने में ही दर्ज करा दिया.

 कर्नल के परिवार का इल्जाम है कि उनके घर पटाखे और मिठाई तक भिजवाये गये, ताकि वह अपना केस वापस ले लें. परिवार का कहना है कि सेना के अधिकारी बिकाऊ नहीं होते, उनके साथ गलत हुआ है, वह कानून सम्मत इस लड़ाई को लड़ेंगे, ताकि किसी और के साथ ऐसा कभी ना हो, अगर पुलिस से उन्हें इंसाफ नहीं मिला तो वे ऊपर कोर्ट तक जाएंगे.

कर्नल एमके सिंह की पोस्टिंग फिलहाल राजस्थान के गंगा नगर में है. फिलहाल पटाखा विक्रेता विक्रम के भाई कमल सिंघानिया का कहना है कि जो कुछ हुआ अच्छा नहीं हुआ, वह देख रहे हैं कि विवाद कैसे सुलझेगा.

गोंदा के थानेदार रवि ठाकुर ने बताया कि कर्नल के बेटे के कहने पर केस दर्ज किया गया है, केस दर्ज होने के बाद सिंघानिया के एक स्टाफ राजेंद्र मुंडा के आवेदन पर प्राथमिकी दर्ज की गई है, राजेंद्र ने अपने बयान में कहा है कि कर्नल पटाखा खरीदने के बाद डिस्काउंट करने बोल रहे थे. डिस्काउंट नहीं मिलने पर गाली-गलौज, मारपीट करने लगे.

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