मध्य प्रदेश बीजेपी के मुखपत्र में सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे की आलोचना की गई है. मध्य प्रदेश बीजेपी की मासिक पत्रिका 'चरैवैती' में अन्ना को विदेशी एनजीओ की 'कठपुतली' बताया गया है. उसमें लिखा है कि अन्ना का गैर सरकारी संगठन एक कठपुतली की तरह इस्तेमाल कर रहे हैं.
इस पत्रिका में कहा गया है कि अन्ना को भूमि अधिग्रहण मुद्दे और विकास की परियोजानाओं में रुकावट डालने के लिए विदेशी धन मुहैया कराया जा रहा है. हालांकि पत्रिका के संपादक जयराम शुक्ला ने लिखा है कि अन्ना हजारे एक ईमानदार इंसान है. लेकिन वह उन तमाम एनजीओ के लिए काम कर रहे है जिन्हें विकास की परियोजनाओं में रुकावट के लिए जाना जाता है.
गौरतलब है कि अन्ना ने पिछले महीने एनडीए सरकार द्वारा लाए गए भूमि अधिग्रहण बिल के विरोध में दिल्ली में अनशन किया था. जिसमें उन्होने किसान विरोधी नीतियों को बदलने की मांग की थी. इस अनशन का सोनिया गांधी ने भी समर्थन किया था.
इस लेख में कहा गया है कि देश अगर मोदी के 'मेक इन इंडिया' के नारे से सहमत है और दुनिया में एक अलग पहचान बनानी है तो निवेश और औद्योगिकीकरण को बढ़ाना मिलेगा. क्योंकि कारखाने, आईटी पार्क और इंफ्रास्ट्रेक्चर के लिए जमीन की जरुरत होती है. इन्हें हवा में खड़ा नही कर सकते है.