महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री और एनसीपी प्रमुख अजित पवार रविवार को अपने निर्वाचन क्षेत्र बारामती के दौरे पर थे. यहां एक कार्यक्रम के दौरान वह अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं पर भड़क गए. बारामती में अजित पवार ने कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन किया. मेधा में एक पेट्रोल पंप के उद्घाटन के दौरान उन्होंने कार्यकर्ताओं और नागरिकों से बातचीत की. पेट्रोल पंप का उद्घाटन करते समय उनकी पार्टी के कार्यकर्ता और नागरिक उन्हें अपने आवेदन दे रहे थे.
लोगों के आवेदनों को स्वीकार करते हुए अजित पवार अधिकारियों को काम में तेजी लाने के निर्देश दे रहे थे. इस दौरान एक कार्यकर्ता ने कई काम लंबित होने की शिकायत की. कुछ स्थानीय लोगों ने भी कार्यकर्ता की हां में हां मिला दी. इसी बात पर अजित पवार नाराज हो गए. उन्होंने गुस्से में कहा, 'सिर्फ इसलिए कि आपने वोट दिया इसका मतलब यह नहीं है कि आप मेरे मालिक हैं. क्या आपने मुझे अपना नौकर बना लिया है?'
यह भी पढ़ें: नए साल की शुरुआत के साथ अजित पवार और शरद पवार का फिर से साथ आने की अटकलें
अपने निर्वाचन क्षेत्र की जनता और पार्टी कार्यकर्ताओं के लिए अजित पवार के इस बयान को लेकर विपक्षी दल उनकी आलोचना कर रहे हैं. इस बीच, शिवसेना नेता और महायुति सरकार में मंत्री संजय शिरसाट ने एनसीपी प्रमुख का बचाव करते हुए कहा कि उन्होंने आवेश में आकर यह टिप्पणी कर दी थी. हालांकि, अजित पवार ने अपनी नाराजगी भरी टिप्पणी के तुरंत बाद खुद को संभाला. उन्होंने जनहित के कार्यों को लेकर पार्टी कार्यकर्ताओं से बातचीत की.
यह भी पढ़ें: 'स्वाभाविक है कि कुछ मंत्री खुश नहीं...', महाराष्ट्र में पोर्टफोलियो बंटवारे पर बोले अजित पवार
उन्होंने जिन कार्यकर्ताओं और लोगों पर गुस्सा निकाला था, उनका ज्ञापन लेकर कहा कि संबंधित कार्य मंत्री हसन मुश्रीफ के अधीन हैं. अजित पवार ने कहा, 'मैंने मुश्रीफ से काम कराने का अनुरोध किया है.' बता दें कि 2024 के लोकसभा चुनाव में अजित पवार ने अपनी चचेरी बहन सुप्रिया सुले के खिलाफ बारामती सीट पर अपनी पत्नी सुनेत्रा पवार को उतारा था. हालांकि, सुनेत्रा चुनाव हार गई थीं. इसके बाद विधानसभा चुनाव के दौरान अजित पवार के खिलाफ शरद पवार ने उनके भतीजे युगेंद्र को बारामती से खड़ा कर दिया था. लेकिन अजित पवार जीत दर्ज करने में सफल रहे.